अब सुब्रमण्यम स्वामी ने साधा निशाना- मदरसों से पैदा हो रही कट्टरपंथी सोच, शिया वक्फ बोर्ड चीफ को मिला कानूनी नोटिस
भाजपा के राज्यसभा सांसद सुब्रमण्यम स्वामी ने भी अब मदरसों पर निशाना साधा है। कहा है कि मदरसों में कट्टरपंथी सोच पैदा हो रही है। उधर, मदरसों में पढ़कर बच्चों के आतंकवादी बनने के बयान पर यूपी शिया सेंट्रल वक्फ बोर्ड के चेयरमैन वसीम रिजवी को जमीयत उलेमा ए हिंद ने 20 करोड़ रुपये का नोटिस जारी किया है। इसमें बिना शर्त माफी मांगने की भी बात कही गई है। यह नोटिस जमीयत उलेमा ए हिंद के मुस्तकीम एहसान आजमी की ओर से जारी हुआ है।
दरअसल रिजवी ने प्रधानमंत्री मोदी को पत्र लिखकर मदरसा शिक्षा को खत्म करने की मांग की थी। कहा था कि ज्यदातर मदरसे पाकिस्तान, बांग्लादेश से आ रहे जकात के पैसे से चल रहे हैं। फंडिंग में आतंकवादी संगठनों की भूमिका सामने आ रही है। लिहाजा इसकी जांच होनी चाहिए। बच्चों को नए जमाने की शिक्षा मिलनी चाहिए। उनके बयान के बाद हंगामा मच गया।
अब जाकर सुब्रमण्यम स्वामी ने भी टाइम्स नाऊ से बातचीत में कह दिया कि मदरसों में कट्टरपंथी सोच पैदा की जा रही है।
उधर उत्तर प्रदेश सेंट्रल वक्फ बोर्ड चेयरमैन वसीम रिजवी ने कहा है कि -‘‘अभी मुझे नोटिस नहीं मिली है। सिर्फ सोशल सोशल मीडिया से इस बार में पता चला है। नोटिस आएगा तो जवाब दिया जाएगा। मैने सारे मदरसों से आतंकवाद फैलने की बात नहीं कही है। मैने राम मंदिर के मामले में आवाज उठाई है। इसी का यह नतीजा है। जान से मारने की भी धमकी दी जा रही है।”
रिजवी ने कहा कि गृहमंत्रालय की रिपोर्ट में पं. बंगाल और केरल के 58 मदरसों के जिहादी लिंक की बात सामने आई थी, उस आधार पर उन्होंने वहां के मदरसों की बात की है, न कि पूरे देश के मदरसों की। मगर मौलवी लोग उनकी बात का गलत अर्थ निकाल रहे हैं। रिजवी ने सवाल उठाया कि आखिर मदरसों की पढ़ाई से क्यों नहीं आईएएस-आईपीएस बच्चे बन पा रहे हैं।