कर्नाटक पर सुनवाई खत्‍म कर सुप्रीम कोर्ट जज बोले- अब छुट्टियों का मजा लेते हैं, लगे ठहाके

कर्नाटक मामले पर सुनवाई के बाद सुप्रीम कोर्ट के जज ने ऐसी बात कही कि वहां मौजूद सभी लोग ठहाके लगाने लगे। दरअसल, बीएस येदियुरप्पा को 26 घंटे के अंदर फ्लोर टेस्ट करके बहुमत सिद्ध करने का आदेश देने के बाद शनिवार को सुप्रीम कोर्ट के जज ने मजाकिया अंदाज में कहा कि अब वह छुट्टियों का मजा लेंगे। इस बात को सुनकर सभी लोग हंसने लगे। इस मामले में सुप्रीम कोर्ट के तीन जजों की बेंच ने फैसला सुनाया था। बेंच का नेतृत्व कर रहे जस्टिस एके सिकरी ने फैसला सुनाने के बाद कहा, ‘आइए, अब हम अपनी छुट्टियों का आनंद लेंगे।’

आपको बता दें कि राज्यपाल वजुभाई वाला ने आनन-फानन में गुरुवार की सुबह येदियुरप्पा को मुख्यमंत्री पद की शपथ दिलवाई थी। उसके साथ ही बहुमत साबित करने के लिए 15 दिनों का लंबा वक्त भी दिया था, जिसके विरोध में कांग्रेस ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था, जिसके बाद कोर्ट ने 26 घंटे के अंदर शनिवार की शाम चार बजे बहुमत साबित करने का आदेश दिया था।

कोर्ट की सुनवाई की शुरुआत में वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल ने अदालत से माफी मांगते हुए कहा कि उन्हें इस बात का खेद है कि शनिवार के दिन उन्होंने कोर्ट को परेशान किया। शनिवार के दिन कोर्ट की छुट्टी होती है। इस पर जस्टिस सीकरी ने कहा कि वे लोग अपनी संवैधानिक ड्यूटी कर रहे हैं। इस पर सिब्बल ने कहा, ‘हम आपको कभी भी परेशान नहीं करते, लेकिन हमारे पास कोई विकल्प नहीं था, क्योंकि स्थापित सिद्धांतों का पालन नहीं किया जा रहा था।’ कोर्ट के फैसले के बाद कांग्रेस और जेडीएस के गठबंधन की तरफ से कोर्ट में पेश हुए अभिषेक मनु सिंघवी ने बेंच से कहा, ‘हम उम्मीद करते हैं कि हम आपको रविवार के दिन परेशान न करें।’ इस पर जस्टिस सीकरी ने तुरंत प्रतिक्रिया देते हुए कहा, ‘हम लोग अभी बस यही चर्चा कर रहे थे। हमें खुद इस बात की आशंका है।’

आपको बता दें कि येदियुरप्पा ने शपथ लेने के दो दिनों बाद शनिवार को पद से इस्तीफा दे दिया। येदियुरप्पा ने विधानसभा में बहुमत के लिए पक्ष में आवश्यक सदस्यों की संख्या न होने के कारण इस्तीफा दे दिया है। सर्वोच्च न्यायालय के आदेश के बाद शनिवार को आयोजित बहुमत परीक्षण के दौरान येदियुरप्पा बहुमत के लिए आवश्यक सदस्यों की संख्या नहीं जुटा सके। विधानसभा में अपने भाषण के बाद उन्होंने अपने इस्तीफे की घोषणा की और वह राज्यपाल को इस्तीफा सौंपने राजभवन चले गए।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *