कहां से आए इतने पत्थर, क्या पूरा प्लान तैयार था? नागपुर हिंसा में साजिश के ये 5 एंगल

मुगल शासक औरंगजेब को लेकर उठीं नफरत की लपटों में सोमवार रात सेंट्रल नागपुर झुलस गया. क्या यह एक सोची समझी साजिश थी? ये सवाल इसलिए उठ रहा है, क्योंकि वहां पत्थरों का ढेर मिला है. विश्व हिंदू परिषद और बजरंग दल के विरोध प्रदर्शन के बीच एक अफवाह से फैली हिंसा में दंगाइयों ने जमकर उत्पात मचाया. दर्जनों गाड़ियां स्वाहा कर दी गईं. हाथों में पत्थर लिए भीड़ ने पुलिस को भी नहीं बख्शा. स्थानीय लोगों का कहना है कि उपद्रवी घर के अंदर तक घुसे और तोड़फोड़ की. गाड़ियों को जला दिया गया. नागपुर में हुई इस हिंसा के लिए जिम्मेदार कौन है? औरंगजेब को लेकर जारी तनाव की आड़ में क्या जानबूझकर चिंगारी को भड़काया गया? इस पर सियासत गर्म है. शिवसेना और बीजेपी नेता इसे सुनियोजित साजिश बता रहे हैं. महाराष्ट्र के उप-मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने कहा है कि औरंगजेब का समर्थन करने वाले देशद्रोही हैं, उपद्रवियों को बख्शा नहीं जाएगा.
NDTV की ग्राउंड रिपोर्ट में यह सामने आया कि सेंट्रल नागपुर वाले जिस एरिया में हिंसा हुई, वहां काफी पत्थर मौजूद थे. इन पत्थरों का साइज भी काफी बड़ा था. यहां पूरा सीमेंट का रोड है. फिर यहां इतने पत्थर कैसे आए. क्या पत्थरों को कहीं ओर से लाया गया था? क्या हिंसा का पूरा प्लान तैयार था? इन सवालों के जवाब पुलिस तलाशने में लगी हुई है.
सीएम देवेंद्र फडणवीस ने विधानसभा में कहा कि यह हिंसक घटना और दंगे पूर्व नियोजित प्रतीत होते हैं. महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने नागपुर हिंसा को सोची समझी साजिश करार दिया. उन्होंने कहा, ‘समाजवादी पार्टी के विधायक अबू आजमी से मामले की शुरुआत हुई. इसके बाद यह मुद्दा बढ़ता चला गया. इसमें कोई दो राय नहीं कि औरंगजेब ने हमारे मंदिरों को तोड़ा, ये इतिहास में दर्ज है. औरंगजेब के मुद्दे पर नागपुर में हिंसा नहीं होनी चाहिए थी. लेकिन हिंसा करने वालों को बख्शा नहीं जाएगा, उनके खिलाफ हम कड़ा ऐक्शन लेंगे. साजिश के तहत नागपुर में हिंसा हुई. इस दौरान घरों और गाड़ियों को पहचान कर टारगेट किया गया. ऐसा लग रहा है कि हिंसा का पूरा प्लान तैयार था.’ क्या साजिश के तहत नागपुर में हिंसा हुई? इस बात की आशंका एकनाथ शिंदे ही नहीं, बल्कि कई अन्य लोग भी जता रहे हैं. पुलिस इस मामले में हर एंगल से जांच कर रही है.
नागपुर हिंसा के मामले में पुलिस कई एंगल से जांच कर रही है. इसमें साजिश का एंगल भी शामिल है. हिंसा वाली जगह पर 300-400 लोग मौजूद थे. पुलिस उपद्रवियों की पहचान करने के लिए इलाके के सभी CCTV खंगाल रही है. उपद्रवियों के खिलाफ सख्त एक्शन के आदेश दिये गए हैं. डिप्टी सीएम एकनाथ शिंदे ने आरोप लगाया है कि औरंगजेब पर खड़े हुए विवाद की शुरुआत समाजवादी पार्टी के विधायक अबू आजमी के बयान से हुई थी. इस बयान में उन्होंने औरंगजेब को नेकदिल बादशाह बताया था. इसके बाद पूरा विवाद खड़ा हुआ. क्या सिर्फ यही वजह रही नागपुर में हिंसा होने की?