चकाचौंध के पीछे
दिल्ली पुलिस ने साढ़े चार साल के बच्चे पर दुष्कर्म का आरोप लगने पर मामला दर्ज किया है। देश का वातावरण नैतिकता के स्तर पर कहां तक खराब हो चुका है, यह इससे पता चल रहा है। दुष्कर्म का आरोप जिस उम्र के बच्चे पर लगा है, उससे यही पता चलता है कि बच्चों के विचार इतनी कम उम्र में ही गलत दिशा में तेजी से बढ़ रहे हैं। समाज के लिए यह एक विचार करने वाली चेतावनी है।
आज बच्चों के हाथों में बहुत ही कम उम्र में मोबाइल और इंटरनेट आ चुका है और उसका अच्छी तरह से उपयोग करना भी उन्हें आ रहा है। आधुनिक दौर में बच्चे पीछे न रहें, इसलिए परिवार वाले उन्हें हर आधुनिक चीज मुहैया करवाने में जुटे रहते हैं। उसके लिए कई बार उन्हें पैसों की बचत करनी पड़ती है। बच्चे को आधुनिक जमाने में डटे रहने के लिए परिवार वाले कोई कसर नहीं छोड़ते। यह सब करते हुए अच्छे विचार और नैतिकता के बारे में सचेत होने जैसी बात नजर नहीं आती। वह सब बातें पढ़ाना स्कूल की जिम्मेदारी कह कर उन्हें महत्त्व नहीं दिया जाता।