जब महेश भट्ट इस हरकत से शर्मसार होकर सबके सामने रोने लगे थे, जानिए क्या थी वजह
महेश भट्ट का नाम आज सफल डायरेक्टर्स में शुमार है, लेकिन उन्हें फिल्म जगत में पहचान आसानी से नहीं मिली थी। एक समय ऐसा भी था जब कोई महेश भट्ट के साथ काम करना नहीं चाहता था, इसके पीछे की वजह थी उनकी लगातार तीन फिल्मों का फ्लॉप होना। इस बात को बेहद कम लोग ही जानते हैं कि एक दिन महेश भट्ट अपने दोस्त और अभिनेता विनोद खन्ना के सामने अपनी हरकत से इतना शर्मसार हुए की रोने लगे थे।
दरअसल मामला कुछ ऐसा है कि, एक समय ऐसा था जब महेश भट्ट निर्देशक राज घोंसला के अस्टिेंट हुआ करते थे। फिल्म ‘मेरा गांव मेरा देश’ की शूटिंग के दौरान फिल्म के हीरो विनोद खन्ना की महेश भट्ट के बीच अच्छी दोस्ती हो गई थी। हालांकि शूटिंग खत्म होने के बाद दोनों की मुलाकात नहीं हो सकी। वक्त बीता और महेश भट्ट एक निर्देशक बन गए। महेश भट्ट ने लगातार तीन फिल्मों का निर्माण किया। ‘मंजिले और भी हैं’, ‘विश्वासघात’ और ‘नया दौर’ लेकिन महेश भट्ट की तीनों फिल्में बॉक्स ऑफिस पर फ्लॉप साबित हुईं। हालात ऐसे बन गए कि उस समय कोई भी महेश भट्ट के साथ काम करने को तैयार नहीं था। इसी दौरान महेश भट्ट की शादी हो गई और एक बेटी का जन्म हो गया।
महेश भट्ट उस दौरान आर्थिक तंगी से जूझ रहे थे। महेश के बेरोजगारी की खबर जब विनोद खन्ना को हुई तो वह दुखी हो गए। उसी दौरान विनोद खन्ना के पास निर्माता सीरु दरियानानी ने फिल्म ‘लहू के दो रंग’ का ऑफर दिया। विनोद ने निर्माता के सामने दो शर्त रख दी कि उनका दोस्त महेश ही इस फिल्म को डायरेक्ट करेगा तभी वह इस फिल्म में काम करेंगे और दूसरी यह की इस बात की जानकारी महेश भट्ट को यह फिल्म विनोद खन्ना की सिफारिश पर उन्हें फिल्म मिली है। एक दिन फिल्म के एक सीन पर महेश भट्ट और विनोद खन्ना पर बहस हो गई और बहस इतनी ज्यादा बढ़ गई कि महेश भट्ट ने फिल्म के निर्माता को विनोद खन्ना को फिल्म से निकालने की बात कह दी। इस बात को सुनकर सीरु दरियानानी ने विनोद खन्ना ने किया वादा तोड़ दिया और महेश भट्ट को सच बता दिया कि इस फिल्म का ऑफर उन्हें विनोद की वजह से ही मिला था। इस बात को सुनकर महेश भट्ट इतना ज्यादा शर्मिंदा हो गए कि वह सबके सामने रोने लगे थे।