नई टैक्स व्यवस्था चुनने वालों को तोहफ़ा, इनकम टैक्स में कम से कम ₹6,500 की बचत,
₹7 लाख तक करयोग्य आय, यानी टैक्सेबल इनकम पर सिर्फ़ 5 फ़ीसदी इनकम टैक्स देना होगा. इससे पहले तक सिर्फ़ ₹6 लाख रुपये तक की आय पर 5 फ़ीसदी टैक्स देना होता था, और ₹6 लाख से ₹9 लाख तक की आय पर 10 फ़ीसदी टैक्स चुकाना होता था.
केंद्र सरकार ने इनकम टैक्स की नई व्यवस्था चुनने वालों को तोहफ़ा दिया है, और ₹7 लाख तक करयोग्य आय, यानी टैक्सेबल इनकम पर सिर्फ़ 5 फ़ीसदी इनकम टैक्स देना होगा. इससे पहले तक सिर्फ़ ₹6 लाख रुपये तक की आय पर 5 फ़ीसदी टैक्स देना होता था, और ₹6 लाख से ₹9 लाख तक की आय पर 10 फ़ीसदी टैक्स चुकाना होता था. इसके अलावा, नई टैक्स रिजीम, यानी NTR चुनने वाले करदाताओं के लिए मानक कटौती, यानी Standard Deduction को भी ₹50,000 से बड़ाकर ₹75,000 कर दिया गया है.
केंद्रीय वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने आम बजट 2024-25 पेश करते हुए नई टैक्स स्लैब की घोषणा की. अब NTR के तहत इनकम टैक्स का कैलकुलेशन करने वाले करदाताओं को शून्य से ₹3 लाख तक की आय पर पुहले की ही तरह कोई टैक्स नहीं देना होगा. ₹3 लाख से ₹7 लाख तक की आय़ पर 5 फ़ीसदी टैक्स लगेगा, ₹7 लाख से ₹10 लाख तक की आय पर 10 फ़ीसदी टैक्स चुकाना होगा, ₹10 लाख से ₹12 लाख तक की आय पर 15 फ़ीसदी टैक्स लगेगा, ₹12 लाख से ₹15 लाख तक की आमदनी पर 20 फ़ीसदी टैक्स देना होगा, और ₹15 लाख से ज़्यादा की कमाई पर पहले की ही तरह 30 फ़ीसदी इनकम टैक्स देना होगा.
मानक कटौती में बढ़ोतरी की इस घोषणा की बदौलत नई टैक्स रिजीम के तहत कर चुकाने वाले किसी भी करदाता की टैक्सेबल इनकम में से ₹25,000 रुपये कम हो जाएंगे, जिसकी बदौलत उसे स्वास्थ्य एवं शिक्षा उपकर सहित ₹1,300 कम इनकम टैक्स चुकाना होगा. इसके अलावा, स्लैब में बदलाव के चलते भी करदाता को ₹1 लाख की आय पर 10% के स्थान पर 5% इनकम टैक्स देना होगा, जिसके चलते उसे स्वास्थ्य एवं शिक्षा उपकर सहित ₹5,200 कम इनकम टैक्स चुकाना होगा.
वैसे, जिन करदाताओं की टैक्सेबल इनकम ₹10 लाख या उससे अधिक बनेगी, उन्हें ₹6,500 के अलावा भी ₹5,200 का लाभ होने वाला है. दरअसल, टैक्स स्लैबों में बदलाव की बदौलत अब ₹7 लाख से ₹10 लाख तक की आय पर सिर्फ़ 10% टैक्स देना होगा, जबकि अब ₹9 लाख से ज़्यादा की आय पर 15% टैक्स देना पड़ता था. सो, कम से कम ₹1 लाख की आय पर 5% कम टैक्स चुकाना होगा, जिसके चलते ₹5,200 का अतिरिक्त लाभ उन करदाताओं को मिलेगा, जिनकी टैक्सेबल इनकम ₹10 लाख या उससे अधिक होगी.
अगर बात करें उन करदाताओं की, जो ₹15 लाख से ज़्यादा कमा रहे हैं, और 30% के स्लैब के तहत इनकम टैक्स चुका रहे हैं, तो उन्हें मानक कटौती में ₹25,000 की बढ़ोतरी और स्लैब में बदलाव की बदौलत सेस समेत कुल ₹18,200 की बचत होने वाली है.