बच्‍ची को खतना से बचाने के लिए कोर्ट ने दिया दखल, कहा- नहीं ले जा सकते भारत

ब्रिटेन में रहने वाले भारतीय मूल के एक परिवार के भारत की उड़ान भरने पर रोक लगा दी गई। इस आशंका पर कि कहीं परिवार धार्मिक कुरीतियों के दबाव में बच्ची का खतना न करा दे। कोर्ट तक इस बात की शिकायत पहुंची थी कि परिवार की तीन अन्य लड़कियों को भारत ले जाकर पहले ही खतना कराया जा चुका है। लिहाजा इस बार भी परिवार वाले भारत में दो साल की बच्ची के साथ यह प्रक्रिया कर सकते हं। मैनचेस्टर काउंटी और फेमिली कोर्ट ने कहा कि चूंकि बच्ची की मां दबाव में आकर बच्ची का खतना करा सकती है, इस नाते बच्ची को भारत नहीं ले जा सकते।

ब्रिटेन में फीमेल जेनिटल म्यूटिलेशन यानी खतना जैसी प्रथा पर रोक है। जज रॉबर्ट जॉर्डन ने मामले की सुनवाई एफजीएम प्रोटेक्शन ऑर्डर के तहत सुनवाई की। उनके सामने सामाजिक कार्यकर्ताओं ने तथ्य पेश किया कि परिवार पहले भी भारत में तीन बेटियों का खतना करा चुका है। जिसके बाद जज ने खतना के खतरे के मद्देनजर बच्ची को भारत ले जाने पर रोक लगा दी। बता दें कि तीन साल पहले ब्रिटेन में फीमेल जेनिटल म्यूटिलेशन ऑर्डर के जरिए खतना जैसी अमानवीय प्रथा पर रोक लगा दी गई।

इसके तहत कड़े प्रावधान है। मसलन, शंका होने पर ब्रिटेन के सक्षम अधिकारी और पुलिसवाले किसी प्रकरण की जांच पर कार्रवाई कर सकते हैं। वहीं अगर किसी दूसरे देश में अभिभावक बच्ची को लेकर खतना कराने की कोशिश करते हैं तो शिकायत मिलने पर उनके बाहर जाने पर रोक लगा दी जाती है। यूं तो भारत में कम, मगर मध्य पूर्व के देशों में महिलाओं को इस प्रथा का शिकार ज्यादा होना पड़ता है। धर्मविशेष में मान्यता है कि खतना के कारण महिलाओं में यौन इच्छा कम होती है, जिससे वे पति को छोड़कर किसी और से शारीरिक संबंध बनाने में रुचि नहीं रखतीं।
चौंकाने वाले आंकड़ेः खतना को लेकर यूनिसेफ ने दुनिया भर के देशों से आंकड़े जुटाए हैं। ये आंकड़े बहुत चौंकाने वाले हैं। आंकड़ों के मुताबिक हर साल विश्व में 20 करोड़ लड़कियां खतने का शिकार होती हैं। इसमें से साढ़े चार करोड़ की उम्र 14 साल से कम होती है। यह अमानवीय प्रथा सबसे ज्यादा इंडोनेशिया, इथोपिया और मिस्त्र में होती है। एक आंकड़े के मुताबिक इन देशों की आधी से ज्यादा लड़कियों का खतना हो जाता है।

क्या है खतना, कैसे होता है: खतना के दौरान लड़कियों को दर्दनाक प्रक्रिया से गुजरना पड़ता है। अस्पतालों में कोई सर्जरी होती है तो बगैर एनेस्थेटिस्ट के इंजेक्शन दिए नहीं होती है। मगर खतने के दौरान बिना बेहोशी के इंजेक्शन के ही ब्लड से महिला के योनि के क्लिटोरिस को काट दिया जाता है। ऐसी मान्यता है कि खतना होने पर महिला पति के प्रति वफादार रहती है। उसकी यौन इच्चाएं दमित हो जाती हैं। जिससे वह पराए मर्दों की तरफ नहीं देखती।

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