बोले जम्मू कश्मीर के नए गवर्नर- कुछ पता नहीं था, दो घंटे पहले पीएम ने फोन कर बताया
जम्मू-कश्मीर के नवनियुक्त राज्यपाल सतपाल मलिक ने कहा कि 21 अगस्त को उनकी नई नियुक्ति की घोषणा से मात्र दो घंटे पहले उन्हें इस बारे में सूचित किया गया था। मंगलवार को इंडियन एक्सप्रेस से एक खास इंटरव्यू में उन्होंने कहा कि, “प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मुझे फोन किया और कहा कि आप जम्मू-कश्मीर जाइये और वहां काम कीजिए। आपको अच्छे सलाहकार और प्रशासक मिलेंगे। इसलिए मैं आगे आया। उस शाम को ही नाम की घोषणा की गई क्योंकि एनएन वोहरा पहले ही दिल्ली आ गए थे और एक भी दिन का गैप नहीं छोड़ा जा सकता था।”
दिल्ली में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह के साथ विमर्श के बाद मलिक ने संकेत दिए कि जल्द ही कुछ महत्वपूर्ण घोषणाएं की जाएंगी। उन्होंने कहा कि, “मैं एक ऐसा सिस्टम लाना चाहता हूं, जिसमें न तो जातिवाद हो और न हीं पक्षपात और न सिफारिश चले। मैं लोगों के बीच विश्वास पैदा करना चहता हूं। मैं चाहता हूं कि लोग यह महसूस करें कि जम्मू-कश्मीर सरकार उनके दरवाजे पर आ सकती है। जम्मू-कश्मीर सरकार हर वक्त उनके साथ है। ”
मलिक द्वारा राज्यपाल के रूप में ‘शुरूआती पहल’ में विधायक की लोकल एरिया डेवलपमेंट स्कीम के तहत पैसे जारी के अधिकार को बनाए रखना है, जिसे भाजपा-पीडीपी गठबंधन सरकार टूटने पर बंद कर दिया गया था। उन्होंने कहा कि, “पैसे जारी करने पर रोक लगने के बाद विधायकों के बीच असंतोष पैदा हो गया था। वे इसके हकदार थे। मैंने इसे फिर से शुरू कर दिया है।”
राज्यपाल ने कहा कि, “गृहमंत्री राजनाथ सिंह से मिलने से पहले उन्हें जम्मू-कश्मीर पुलिस की कुछ मांगों के बारे में जानकारी दी गई थी। इनमें पुलिस जवानों के लिए सुरक्षित अावास निर्माण के लिए फंड, जिसकी कमी थी, को सैद्धांतिक मंजूरी दे दी गई। इसके साथ-साथ, अॉपरेशन के दौरान जम्मू-कश्मीर पुलिस जवान की मौत के बाद परिवारवालों को मिलने वाले मुआवजे की रकम को बढ़ाया जाएगा। इसे सेना और सीआरपीएफ जवानों के परिवारों को मिलने वाले मुआवाजे के बराबर किया जाएगा।” उन्होंने कहा कि, “बहुत चीजों की घोषणा की जा रही है। जम्मू-कश्मीर के राज्यपाल के रूप में काम करना चुनौतीपूर्ण है। लेकिन यदि मैंने थोड़ा भी बदलाव कर दिया तो मुझे महसूस होगा कि मैंने अपनी जिंदगी में कुछ किया है।”