मध्य प्रदेश उपचुनाव: 19 मंत्रियों ने किये दौरे, सीएम शिवराज सिंह ने गुजारी रात, फिर भी दोनों सीटें हारी बीजेपी
मध्य प्रदेश के दो विधानसभा क्षेत्रों कोलारस और मुंगावली में हुए उप-चुनाव में कांग्रेस ने जीत दर्ज करते हुए अपना कब्जा बरकरार रखा है। कोलारस में कांग्रेस प्रत्याशी महेंद्र सिंह यादव और मुंगावली में बृजेंद्र सिंह यादव ने जीत दर्ज की है। इन दोनों उपचुनावों के जीतने के लिए बीजेपी ने कड़ी मेहनत की थी। सीएम शिवराज सिंह चौहान समेत उनके कैबिनेट के कई मंत्रियों ने इस सीट पर बीजेपी का परचम लहराने के लिए कोशिशें की, लेकिन वे नाकाम रहे। अशोकनगर जिले के मुंगावली विधानसभा सीट के सेहराई और पिपराई गांव में चुनाव प्रचार के दौरान शिवराज सिंह चौहान रातभर रुके थे। सीएम ने सेहराई गांव में रोड शो किया, इसके अलावा उन्होंने इस गांव में डिग्री कॉलेज भी खोलने का वादा किया था। लेकिन मतदाता उनके वादों से प्रभावित नहीं दिखे। बीजेपी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रभात झा ने जनसंपर्क अभियान चलाया था, बावजूद इसके पार्टी मतदाताओं को लुभाने में नाकाम रही।
मध्यप्रदेश में इसी साल दिसंबर में होने वाले विधानसभा चुनावों से पहले इन चुनावों को सत्ता का सेमीफाइनल माना जा रहा था। लिहाजा बीजेपी और कांग्रेस दोनों इन सीटों पर कब्जा करने के लिए जोर आजमा रहे थे। ये सीटें कांग्रेस के बड़े नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया के प्रभाव वाली हैं। इन दोनों ही सीटों पर 2013 के विधानसभा उपचुनाव में कांग्रेस ने जीत हासिल की थी। इस बार मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रभात झा और 19 मंत्रियों समेत 40 से ज्यादा विधायकों ने कोलारस और मुंगावली में रैलियां और जनसभाएं कीं। बीजेपी की तमाम कोशिशों को बावजूद कांग्रेस अपना गढ़ बचाने में कामयाब रही।
अशोकनगर के मुंगावली में कांग्रेस प्रत्याशी बृजेंद्र सिंह यादव ने भाजपा उम्मीदवार बाई साहब पर 2124 वोट के अंतर से जीत दर्ज की है। वहीं शिवपुरी के कोलारस में कांग्रेस प्रत्याशी महेंद्र सिंह यादव ने भाजपा के देवेंद्र जैन पर 8086 वोट से जीत दर्ज की है।कोलारस सीट कांग्रेस विधायक रामसिंह यादव के निधन से खाली हुई थी। कांग्रेस ने रामसिंह के बेटे महेंद्र सिंह को टिकट दिया था। जबकि मुंगावली सीट पर 2013 में कांग्रेस के महेंद्र सिंह कालूखेड़ा जीते थे। यह सीट भी उनके आसामयिक निधन से खाली हुई थी।