मुजफ्फरनगर: पुलिस अफसरों ने मदरसे में बांटा खाना, साथ बैठकर खाया

यूपी के मुजफ्फरनगर के माथे पर 2013 से लगे दंगों के दाग को जिले की पुलिस ने धोने की कोशिश की है। सांप्रदायिक सौहार्द के लिए पुलिस ने होली के मौके पर नायाब पहल की। जिसकी सराहना हो रही है। होली के एक दिन पहले पुलिस ने मदरसे में आयोजन कर अल्पसंख्यक तबके का भरोसा जीतने की कोशिश की। मदरसे में भंडारे का आयोजन हुआ। पुलिसकर्मियों ने खाना बांटा और सभी को खिलाया। यह तस्वीर सोशल मीडिया पर खूब वायरल हो रही है। मुजफ्फरनगर पुलिस और आईजी नवनीत सिकेरा ने इन तस्वीरों को रिट्वीट भी किया।

वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अनंत देव तिवारी ने मुजफ्फरनगर की फिजा मे अमन-शांति लाने के लिए यह पहल की। उनकी पहल को एसपी सिटी ओमवार सिंह ने अमलीजामा पहनाया। शुक्रवार को सीओ सिटी हरीश भदौरिया, महिला थाना प्रभारी मीनाक्षी शर्मा और चौकी प्रभारी विनय शर्मा शनिधाम मंदिर के पास बने मदरसा मुरादिया में पहुंचे। फिर सभी पुलिसकर्मियों ने यहां मदरसा में पढ़ने वाले बच्चों को एकजुट कर उन्हें खाना खिलाया।

पहले पुलिस ने बच्चों को खाना बांटा, फिर इसके बाद खुद भी मदरसे के शिक्षकों के साथ भोजन किया। मदरसे में इस आयोजन से दिल जीतने के बाद यूपी पुलिस शाम को होलिका दहन सकुशल संपन्न कराने में जुट गई। पुलिस का कहना है कि मुजफ्फरनगर में सांप्रदायिक सौहार्द के लिए ऐसे आयोजन बहुत जरूरी हैं। इससे दूरियां खत्म होती हैं। लोगों में परस्पर प्रेम पनपता है। मित्र पुलिस के फार्मूले पर काम कर जिले में अमन-चैन की बहाली के लिए मुजफ्फरनगर पुलिस संकल्पित है।

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