मोदी, योगी का नाम लेने के लिए टॉर्चर किया… मालेगांव ब्लास्ट केस में बरी हुई साध्वी प्रज्ञा का बड़ा खुलासा

महाराष्ट्र के मालेगांव ब्लास्ट मामले में NIA की विशेष अदालत से 17 साल बाद बरी होने के बाद पूर्व भाजपा सांसद प्रज्ञा सिंह ठाकुर ने जेल में बिताए अपने दिनों को याद करते हुए कहा कि मुझ पर इतना अत्याचार किया गया कि इसे शब्दों में बयां नहीं किया जा सकता है. पूर्व भाजपा सांसद प्रज्ञा सिंह ठाकुर ने मीडिया से बातचीत के दौरान कहा कि ATS अधिकारियों ने मुझे 13 दिनों तक अवैध रूप से रखा. इस हिरासत के दौरान मुझे जितनी यातनाएं दी गईं, ऐसे अत्याचार किए गए जिसके लिए शब्द कम पड़ जाएंगे. शब्दों की भी अपनी मर्यादा होती है.
‘मोदी, योगी,भागवत सहित अन्य लोगों का नाम लेने का बनाया दवाब’
साध्वी प्रज्ञा ने आगे कहा, “मुझे नरेंद्र मोदी, योगी आदित्यनाथ, मोहन भागवत, सुदर्शन, इंद्रेश, रामजी माधव जैसे लोगों के नाम लेने के लिए मजबूर किया जाता था. वे कहते रहे कि इन लोगों के नाम लो तो हम तुम्हें नहीं मारेंगे. उनका मुख्य उद्देश्य मुझे प्रताड़ित करना था. मुझसे सब कुछ असत्य बोलने के लिए कहा जा रहा था. इसलिए मैंने किसी का नाम नहीं लिया.
जेल में मुझे मानसिक और शारीरिक रूप से प्रताड़ित किया गया: साध्वी
भाजपा की पूर्व सांसद ने कहा कि इन लोगों ने प्रताड़ित करके बहुत कुछ कहलवाना चाहा, लेकिन हम असत्य बोलेंगे नहीं. राष्ट्र को भयभीत होने की जरूरत नहीं है. देशभक्त अपने देश के लिए जीता और मरता है. प्रज्ञा ठाकुर ने कहा कि कई एटीएस अधिकारियों ने कानून के नाम पर गैर कानूनी काम किए हैं. जेल में मुझे मानसिक और शारीरिक रूप से प्रताड़ित किया गया.
‘भगवा और हिंदू धर्म को बदनाम करने का कुत्सित प्रयास किया’
प्रज्ञा सिंह ठाकुर ने कोर्ट के फैसले पर कहा कि यह भगवा की जीत है, धर्म की जीत है और सनातन धर्म की जीत है. हालांकि इन लोगों में इतना दम नहीं कि पराजित कर सकें. इन लोगों ने प्रताड़ित कर भगवा और हिंदू धर्म को बदनाम करने का कुत्सित प्रयास किया है. ऐसे लोगों को दंड दिलवाने का हम प्रयास करेंगे. यह पूरा केस गढ़ा गया था, इसका कोई आधार नहीं था.सत्य प्रकट और सिद्ध होता है, इस केस में भी ऐसा हुआ.