वसीम रिजवी ने फिर की राम मंदिर की वकालत, मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड को बताया आतंकवादी संगठन
उत्तर प्रदेश शिया सेंट्रल वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष सैयद वसीम रिजवी ने रविवार को कहा कि कट्टरपंथी मानसिकता के लोग जो अपने को तथाकथित मुसलमान कहते हैं, वह हिंदुस्तान के लिए खतरा बनते जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि हिंदुस्तान के मुसलमानों से संबंधित अहम फैसले पाकिस्तान और सऊदी अरब के आतंकवादी संगठन तय करते हैं। मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड इन आतंकवादी संगठनों की एक शाखा है, जो इनकी विचारधाराओं पर चलते हुए देश का माहौल खराब कर रहा है। रिजवी ने कहा कि जनाब सलमान नदवी साहब उप्र शिया सेंट्रल वक्फ बोर्ड द्वारा दिए गए फॉर्मूले से लगभग सहमत हैं और उन्होंने भी वही बात कही है, जो उप्र शिया सेंट्रल वक्फ बोर्ड ने कही है।
उन्होंने कहा कि अयोध्या में राम मंदिर बनना चाहिए और मुसलमान अपनी मस्जिद वहां से दूर किसी गैर विवादित जगह पर बनाएं यही एक मात्र रास्ता है। देश में अमन और भाईचारा कायम करने का जनाब सलमान नदवी साहब ने जब अबू बकर बगदादी को मुबारकबाद का खत लिखा था, तब मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने उनके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की और आज जब उन्होंने देश में अमन कायम रखने की दिशा में जायज बात की है तो उन्हें मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड से निकाल दिया गया।
रिजवी ने कहा कि जाकिर नायक जैसा आतंकवादी जिसको हिंदुस्तान ने भगोड़ा घोषित कर रखा है, वह आज तक मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड का सदस्य है, उसे आज तक मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड से नहीं निकाला गया। मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड को आतंकवादी संगठन मानते हुए प्रतिबंधित कर देना चाहिए। वहीं, मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एमआईएम) के अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी ने सोमवार को कहा कि मौलाना सलमान हुसैनी नदवी ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड (एआईएमपीएलबी) में दरार डालने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के इशारों पर काम कर रहे हैं।