जनता की अदालत में आज- पुलिस-पटाखा और कोर्ट

दिल्ली पुलिस और पटाखा कारोबारी के बीच शह और मात का खेल दिवाली की पूर्व संध्या तक जारी रहा है। सुप्रीम कोर्ट के निर्देश के मद्देनजर पुलिस चुस्त दिखी। अब बारी दिल्ली वालों की है। देखना है कि जनता की अदालत में ‘पटाखा प्रकरण’ कितनी अहमियत रखता है। अंतिम नतीजे दीपावली रात सामने आएंगें, जब दिल्ली बताएगी कि उसने अदालत के आदेश को कितनी तरजीह दी है। हालांकि ‘स्थानीय सर्किल सर्वेक्षण’ की ओर से जारी रपट में दिल्ली की 80 फीसद जनता ने पटाखों को ना ही कहा है। बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने पटाखे बेचने वाले पर नकेल कसते हुए उन्हें राहत देने से इंनकार कर दिया है लेकिन जनता को पटाखे जलाने पर ढील दे दी।

बहरहाल दिल्ली पुलिस ने 12 कुंतल से ज्यादा पटाखे जब्त किए गए। पटाखे बेचने वाले 50 से ज्याद लोगों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की गई। 29 लोगों को गिरफ्तार किया गया। इसके अलावा करीब दो दर्जन अन्य लोगों को भी हिरासत में लिया गया है। पुलिस उपायुक्त व प्रवक्ता मधुर वर्मा ने पुलिस की कार्रवाई का पुष्टि की और कहा कि इसे देखने के लिए जिले स्तर पर एक एक टीम बनाई गई है। एक अन्य पुलिस अधिकारी ने कहा कि सभी थाने के एसएचओ को सुप्रीम कोर्ट के निर्देश को अमल में लाने के विशेष निर्देश दिए गए हैं। पुलिस आयुक्त अमूल्य पटनायक ने 13 पुलिस उपायुक्तों को निर्देश दिया था कि अपने इलाके में वे पटाखों की बिक्री पर रोक को सुनिश्चित करें। इसके बाद स्थिति पर निगरानी रखने के लिए जिलों में विशेष दल गठित किए गए। थोक व्यापारियों की दुकानें सील कर पुलिस ने फेरा ‘जुगाड़’ पर पानी सुप्रीम कोर्ट के निर्देश के बाद पटाखों का थोक व्यापारियों की दुकानों पर सील जड़ी जा चुकी हैं। लेकिन पटाखे के व्यवसाय से जुड़े लोगों ने जुगाड़ के जरिए अपनी मंशा साधने की कोशिश की। हालांकि वे सफल नहीं हो सके। पुलिस तब चौकी जब फुटकर पटाखे वाले दुकान पर बाहर ताले लगे मिले और अंदर मोल भाव में व्यापारी जुटे मिले। पटाखों की अवैध बिक्री धड़ल्ले से की जा रही थी। पुलिस ने दबिश दी और उन्हें दबोच लिया। पुलिस की कार्रवाई से अब बाहरी दिल्ली और सदर बाजार में दहशत है। इस कड़ी में मध्य जिले के चांदनी महल इलाके से पुलिस ने अवैध रूप से पटाखा बेचने के आरोप में हौजकाजी निवासी मो इकबाल (40) को पकड़ा गया। पुलिस ने आरोपी के पास से भारी मात्रा में पटाखे भी बरामद किया है। कई और लोगों को पकड़ा गया। नरेला में ऐसे ही एक दुकानदार के खिलाफ पुलिस ने मामला दर्ज किया है। पुलिस इस गैर कानूनी गतिविधियों में शामिल दुकानदारों के खिलाफ भी कार्रवाई की है।

कहीं आप न आ जाएं लपेटे में
पुलिस के अधिकारियों की मानें तो गुरुवार को साढ़े नौ बजे के बाद पुलिस अपने रंगत में आ जाएगी। दरअसल सुप्रीम कोर्ट के निर्देश में जो छूट मिली है उसकी समय सीमा साढ़े नौ बजे रात तक ही तय की गई है। लिहाजा साढ़े नौ बजे रात के बाद पटाखा फोड़ने वालों के खिलाफ कार्रवाई की जा सकती है।
हालांकि पुलिस के एक आला अधिकारी ने इस बाबत कराए एक सर्वे के हवाला देकर कहा कि दिल्ली के 80 फीसद से अधिक लोग पटाखों पर सुप्रीम कोर्ट की ओर से प्रतिबंध लगाने को न केवल सही ठहराया है बल्कि इस दिवाली पर पटाखे नहीं जलाने का भी फैसला किया हैं। अधिकारी ने इसे समाज के लिए अच्छी खबर बताया। ‘स्थानीय सर्किल सर्वेक्षण’ में करीब 4700 लोगों को शामिल किया गया था। जिनमें 18 फीसद ने कहा कि वे जलना चाहते हैं लेकिन वे पटाखा जला नहीं सकेंगे क्योंकि बाजार में पटाखे उपलब्ध ही नहीं हैं। 5 फीसद ने कहा कि वे निश्चित रूप से पटाखे जलाएं और पहले से ही उन्हें मिल गया है।
आतंकवादी घटनाओं को लेकर पुलिस ने सतर्कता बढ़ाई

केंद्रीय गृह मंत्रालय के रपट पर दिल्ली पुलिस ने अधिक सतर्क रहने को कहा है। सभी बाजारों, रेलवे स्टेशनों, बस अड्डों और धार्मिक स्थलों जैसे स्थानों पर अतिरिक्त बल तैनात करने को कहा है, ताकि हमले करने की आतंकवादियों की कोशिशों को नाकाम किया जा सके। पुलिस का बताया गया है कि आतंकवादी और विध्वंसकारी तत्वों की ओर से शांति में खलल डालने और सांप्रदायिक तनाव भड़काने की कोशिश में हैं। खासतौर पर धार्मिक स्थलों के पास अराजक तत्वों की उकसाने वाली नारेबाजी के खिलाफ सतर्क रहने को कहा गया है। पुलिस ने कहा धनतेरज शांतिपूर्ण बीता अब दिपावली पर नजर है। इसके लिए थाने स्तर पर पुलिस ने सुरक्षा के मद्देनजर पुख्ता इंतजाम किए हैं। सीसीटीवी कैमरों से बाजारों पर नजर रखी जा रही है। पुलिस वाले बाजारों में पुलिस सादे कपड़ों में संदिग्धों पर निगाह रखे हुए है। बड़े बाजारों, लाजपत नगर, सरोजनी नगर, करोल बाग, रानी बाग आदि में मेटल डिटेक्टर लगाए गए हैं।

 

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