बलात्कार के आरोपी राम रहीम के समर्थकों द्वारा भड़की हिंसा को लेकर आया सोनिया गांधी का बयान

कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने शुक्रवार को हरियाणा में भड़की हिंसा पर दुख जताया और राज्य के लोगों से शांति और सौहार्द बनाए रखने की अपील की। सोनिया ने पंजाब के मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह से फोन पर बात की और चंडीगढ़ में सभी नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने को कहा। कांग्रेस प्रमुख ने एक बयान में कहा, “हरियाणा के पंचकूला और राज्य के अन्य हिस्सों में अप्रत्याशित हिंसा के कारण बच्चों सहित दो दर्जन से अधक लोगों की मौत से गहरी चिंता में हूं और शोकाकुल हूं। सार्वजनिक संपत्तियों को भारी नुकसान पहुंचा है और मीडिया पर असंवेदनशील हमला दुखद है। सीबीआई की विशेष अदालत ने शुक्रवार को दोपहर बाद जैसे ही डेरा सच्चा सौदा के प्रमुख व एमएसजी फिल्म के हीरो गुरमीत राम रहीम सिंह को दो साध्वियों के यौन शोषण के मामले में दोषी करार दिया, बाबा गुरमीत के हजारों अनुयायी हिंसक हो उठे।

डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम सिंह को दुष्कर्म मामले में अदालत द्वारा दोषी ठहराए जाने के बाद उनके नाराज भक्त हिंसा पर उतर आए। समर्थकों को काबू में करने के लिए सुरक्षा बलों द्वारा की गई गोलीबारी में 30 लोगों की मौत हो गई। हिंसा में सुरक्षा कर्मियों सहित 200 लोग घायल हुए हैं। पुलिस अधिकारियों ने कहा कि नाराज डेरा समर्थकों पर गोलीबारी से मौतें हुई। मृतकों में सभी डेरा समर्थक हैं।

पुलिस व अस्पताल सूत्रों ने कहा कि करीब 200 से ज्यादा लोग घायल हैं, जिसमें से कुछ जिंदगी व मौत से जूझ रहे हैं। कई घायलों को चंडीगढ़ के अस्पताल में रेफर किया गया है। हरियाणा के पुलिस महानिदेशक बी.एस. संघु ने शुक्रवार की शाम को कहा कि पंचकुला 100 फीसदी सुरक्षित है। हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने बाद में लोगों से शांति व सौहार्द बनाए रखने व अफवाहों से गुमराह नहीं होने का आग्रह किया। पंचकूला में डेरा समर्थकों के हिंसा की निंदा किए बगैर खट्टर ने कहा, “सीबीआई अदालत के फैसले के बाद कुछ असाजिक तत्व डेरा सच्चा सौदा के समर्थकों के साथ मिल गए और शांति को बाधित कर हिंसा को अंजाम दिया।”

उन्होंने कहा, “इन लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जा रही है। कोई भी कानून से ऊपर नहीं है और किसी के भी कानून को अपने हाथों में लेने की कोशिश पर सख्त कार्रवाई की जाएगी। सुरक्षा बलों ने कई जगहों पर गोलीबारी की क्योंकि डेरा समर्थकों ने कई वाहनों को इमारतों को आग लगा दी।

राम रहीम को दुष्कर्म का दोषी करार दिए जाने के बाद पंचकूला घंटे भर में युद्ध के मैदान में तब्दील हो गया। इसमें पत्रकारों व सुरक्षा कर्मियों को निशाना बनाया गया। कुछ पत्रकार अपनी जान बचाकर भागे और पास के घरों में शरण ली। सुरक्षा कर्मियों व मीडिया के लोगों सहित करीब 200 से ज्यादा लोग हिंसा में घायल हुए हैं। कुछ लोगों के शरीर से खून बह रहा था व कुछ गोलियों से जख्मी सड़क पर पड़े थे।

पंचकूला शहर में हिंसा भड़कने के बाद कर्फ्यू लगा दिया गया। पूरा पंचकूला डेरा समर्थकों से घिरा था। डेरा समर्थक पुलिस व सुरक्षा कर्मियों से ज्यादा तादाद में थे। रिपोर्ट में कहा गया है कि गुस्साई भीड़ ने करीब 100 से ज्यादा वाहनों को आग के हवाले कर दिया। कई सरकारी व निजी इमारतों को नुकसान पहुंचाया गया और कुछ में आग लगा दी गई। निवासियों ने कई जगहों पर काले धुएं का गुबार देखा। लोगों की शिकायत थी कि अधिकारियों ने सेना की इकाइयों व अर्ध सैनिक बलों को सरकारी कार्यालयों के निवासियों व मंत्रियों के आवासों व सिर्फ कुछ स्थानों की सुरक्षा के लिए तैनात किया गया था। बाकी पूरे शहर को डेरा समर्थकों की दया पर छोड़ दिया गया था।

निषेधाज्ञा का उल्लंघन करते हुए डेरा समर्थक डेरा प्रमुख के दुष्कर्म मामले में फैसले के मद्देनजर पंजाब और हरियाणा से हजारों की संख्या में शहर में जुटे थे। फैसला राम रहीम के खिलाफ आते ही वे हिंसा पर उतारू हो गए। सीबीआई की विशेष अदालत ने राम रहीम को दो महिला शिष्याओं से दुष्कर्म और छेड़छाड़ के मामले में दोषी ठहराया है। राम रहीम पर वर्ष 2002 में दो साध्वियों से दुष्कर्म करने का आरोप है। इस मामले की अदालत में सुनवाई 2008 में शुरू हुई थी।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *