मुंबई मेट्रो की प्रस्तावित सुंरग के विरोध में पारसी धर्मगुरूओं का पीएम को पत्र, लिखा- इससे भारी नुकसान हो जाएगा
पारसी समुदाय के दो शीर्ष धार्मिक गुरूओं ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिख मेट्रो के तीसरे फेज के मार्ग को फिर से तैयार करने की अपील की है। रेल परियोजना के अधीन बनाई जा रही मेट्रो सुरंग के विरोध में प्रधानमंत्री को पत्र लिख, उन्होंने कहा कि इससे समुदाय को एक ‘‘भारी धार्मिक नुकसान’’ होगा। पारसी समुदाय के दो वरिष्ठ धर्म गुरूओं दस्तानूर फिरोज कोतवाल और दस्तानूर के एम जमस्पाशा ने दक्षिण मुंबई में दो अताश बहरम (पारसी पूजा स्थल) के नीचे और पास बनने वाली मेट्रो सुरंग के विरोध में प्रधानमंत्री को 21 अक्तूबर को पत्र लिखा था। तीसरे फेज की मेट्रो की सुरंग वाडिया अताश बहरम (1830) के नीचे से और अंजुमन अताश बहरम (1897) के पास से गुजरेगी। भारत में मौजूद आठ अताश बहरम में ये दोनों शामिल हैं।
उन्होंने पत्र में कहा कि भवन के नीचे मौजूद जमीन धार्मिक रूप से उससे जुड़ी है । साथ ही पानी के स्तर पर भी इसका असर पड़ेगा जिससे अताश बहरम के सूखा होने की भी पूरी संभावना है। इससे अताश बहरम में पारसियों का कोई भी उच्च अनुष्ठान करना असंभव हो जाएगा।मुंबई मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन लिमिटेड के प्रवक्ता ने कहा कि मुंबई के तीसरे फेज की मेट्रो पारसी धार्मिक स्थल के नीचे से होकर नहीं गुजर रही और इसके निर्माण के दौरान भवन को कोई नुकसान नहीं होगा।