7th Pay Commission Latest News: सैलरी बढ़ाने को लेकर DoTP और एनएसी आमने सामने
7th Pay Commission: सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों को अभी पूरी तरह से लागू नहीं किया गया है। सातवें वेतन आयोग को लागू करने के लिए नेशनल अनोमली कमेटी बनाई गई थी। यह कमेटी वेतन विसंगति को सुलझाने के लिए बनाई गई थी। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक नेशनल अनोमली कमेटी ने डीओटीपी से केंद्रीय कर्मचारियों की मिनिमम सैलरी 18,000 रुपए से बढ़ाकर 21,000 रुपए करने की सिफारिश की थी। वहीं फिटमेंट फेक्टर को 2.57 से बढ़ाकर 3.00 करने की सिफारिश की थी। रिपोर्ट्स की मानें तो सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों से परे केवल उन्ही कर्मचारियों की सैलरी बढ़ाई जाएगी, जो पे मैट्रिक्स लेवल 5 के अंतर्गत आते हैं।
रिपोर्ट्स की मानें तो डिपार्टमेंट ऑफ पर्सनल एंड ट्रेनिंग (डीओटीपी) एनएसी के उस प्रस्ताव के खिलाफ है, जिसमें सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों से परे केंद्रीय कर्माचारियों की सैलरी बढ़ाने की बात की गई है। हालांकि जूनियर लेवल के कर्मचारियों की सैलरी को बढ़ाने में कितना समय लगेगा इसके बारे में भी कोई जानकारी नहीं दी गई है। सीनियर और मिड लेवल के कर्मचारियों की सैलरी में कोई बदलाव नहीं किया जाएगा। रिपोर्ट्स की माने तो डीओटीपी ने साफ कर दिया है कि उन केंद्रीय कर्मचारियों की सैलरी में कोई बदलाव नहीं होगा जो मैट्रिक्स लेवल 5 के दायरे में नहीं आते हैं।
सातवें वेतन आयोग ने केंद्रीय कर्मचारियों की सैलरी में 14.27 फीसदी बेसिक पे बढ़ाने की सिफारिश की थी। वहीं फिटमेंट फेक्टर को भी 2.57 गुना बढ़ाने की सिफारिश की थी। सातवें वेतन आयोग का लाभ मिलने के बाद न्यूनतम सैलरी 7,000 रुपए महीने से बढ़कर 18,000 रुपए महीने हो जाएगी। वहीं अधिकतम सैलरी 80,000 रुपए महीने से बढ़कर 2.5 लाख रुपए हो जाएगी। इसे केबिनेट ने जून 2016 में ही मंजूरी दे दी थी। केंद्रीय कर्मचारियों की मांग है कि न्यूनतम सैलरी को 18,000 रुपए महीने से बढ़ाकर 26,000 रुपए महीने किया जाए। वहीं फिटमेंट फेक्टर को 2.57 गुना से बढ़ाकर 3.68 गुना कर दिया जाए।