शीतकालीन ओलंपिक के क्रॉस कंट्री स्कीइंग में भारत को निराशा, 119 प्रतिभागियों में 103 नंबर पर रहे जगदीश सिंह
भारत के जगदीश सिंह शुक्रवार को प्योंगचांग शीतकालीन ओलंपिक खेल की 15 किमी फ्री क्रॉस कंट्री स्कीइंग रेस में खराब प्रदर्शन से 103वें स्थान पर रहे जिससे भारत का इन खेलों में सफर फिर एक बार निराशाजनक रहा। ओलंपिक में पदार्पण कर रहे 26 साल के जगदीश ने अल्पेंसिया क्रॉस कंट्री स्कीइंग सेंटर में फिनिश लाइन पार करने में 43.03 मिनट का समय लिया जिससे वह 119 प्रतिर्स्पिधयों में 103वें स्थान पर रहे। जगदीश ने जो समय लिया वह प्रतिस्पर्धा का स्वर्ण पदक जीतने वाले स्विट्जरलैंड के डैरियो कोलोग्ना से 9:16.4 मिनट ज्यादा था। स्विस खिलाड़ी ने 33:43.9 मिनट के साथ लगातार तीसरा स्वर्ण पदक जीता। नॉर्वे के सिमेन क्रूगर ने 34:02.2 मिनट के साथ रजत जबिक रूसी ओलंपिक खिलाड़ी डेनिस स्पितसोव ने 34:06.9 मिनट का समय लेकर कांस्य पदक जीता।
गुलमर्ग के हाई एल्टीट्यूड वारफेयर स्कूल (एचएडब्ल्यूएस) में प्रशिक्षण लेने वाले भारतीय खिलाड़ी शुरुआती 1.5 किमी तक पहले स्थान पर चल रहे खिलाड़ी से 40 सेकेंड धीमे थे लेकिन रेस बढ़ने के साथ यह अंतर भी बढ़ता चला गया। आधी रेस तक जगदीश सबसे आगे रहे खिलाड़ी से 4:28 मिनट धीमे हो गए और यह अंतर बढ़ता गया। हालांकि भारतीय खिलाड़ी रेस शुरू करने वाले 116वें स्थान से बाद अपना स्थान सुधारने में सफल रहा। क्रॉस कंट्री स्कीइंग में खिलाड़ियों को कम से कम समय में बर्फ से ढके 15 किमी लंबा मैदान पार करना होता है। इस रास्ते में ऊंची, सामान्य एवं निचली ढलानें होती हैं।
दक्षिण कोरिया के प्योंगचांग में हो रहे ओलंपिक खेल में केवल दो खिलाड़ी भारत का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं। इससे पहले शिवा केशवन अपने छठे एवं आखिरी शीतकालीन ओलंपिक खेलों की पुरुष ल्यूज एकल प्रतिस्पर्धा में 34वें स्थान पर रहे थे। भारत अब तक शीतकालीन ओलंपिक खेल में कभी भी अच्छा प्रदर्शन नहीं कर सका है क्योंकि इन खेलों पर इतनी तवज्जो नहीं दी जाती। केशवन की छह ओलंपिक में भागीदारी ही देश के लिए एक तरह से उपलब्धि है।
भारत ने पहली बार 1964 में आॅस्ट्रिया के इन्सब्रक में हुए शीतकालीन ओलंपिक खेल में हिस्सा लिया था जहां पोलिश मूल के अल्पाइन स्कीइंग खिलाड़ी जेरेमी बुजाकोस्की ने देश का प्रतिनिधित्व किया था। उन्होंने 1968 में ग्रेनोबल (फ्रांस) ओलंपिक खेल में भी देश का प्रतिनिधित्व किया। इसके बाद कनाडा के कालगैरी में 1988 में हुए शीतकालीन ओलंपिक खेल में शैलजा कुमार, गुल देव और किशोर राय (तीनों अल्पाइन स्कीइंग खिलाड़ी) ने हिस्सा लिया था। केशवन 1998 में जापान के नगानो में हुए ओलंपिक से लेकर इस बार प्योंगचांग शीतकालीन ओलंपिक खेल तक देश का प्रतिनिधित्व करते रहे।