विदेश में रहने के बावजूद ऐसे रखें अपने पैसों का ख्याल, बड़े काम के हैं ये 10 टिप्स

आदिल शेट्टी
अपने देश से बाहर कदम रखने के बाद, आपको अपने पैसे को मैनेज करने के लिए एक अलग तरीका अपनाना पड़ता है, खास तौर पर यदि आप विदेश में सेटल होना चाहते हैं। इसमें शामिल है – अपने बैंक अकाउंट, निवेश, परिसंपत्तियां, टैक्स, इत्यादि का ख्याल रखना। दूसरी तरफ, यदि आप वापस भारत लौटने की योजना बना रहे हैं तो आपको यहां के बाजार के लिए अपने आपको तैयार रखने और अपने पैसे को सही जगह लगाने की जरूरत है ताकि आपको ज्यादा से ज्यादा लाभ मिल सके। यहां NRI लोगों के लिए अपने पैसों को सही ढंग से मैनेज करने के लिए 10 उपाय बताए गए हैं।

भारत के किसी बैंक में एक NRO/NRE अकाउंट मेन्टेन करें
यदि आप एक NRI हैं और भारत में अभी भी आपकी आय का कोई स्रोत है जैसे पुश्तैनी संपत्ति से या किराए की संपत्ति से होने वाली आमदनी, तो आप एक NRO बैंक अकाउंट खोलकर भारत में पैसे रख सकते हैं। भारत में विदेश से पैसे भेजने और उसे भारतीय मुद्रा में जमा करने के लिए, आपको एक NRE अकाउंट खोलना पड़ेगा। NRE अकाउंट, पर टैक्स नहीं लगता है लेकिन NRO अकाउंट पर आपकी टैक्स सीमा के आधार पर टैक्स लग सकता है।

भारत में अपनी संपत्ति को मैनेज करने के लिए पॉवर ऑफ अटॉर्नी का इस्तेमाल करें
यदि आप भारत में अपनी संपत्ति छोड़कर जा रहे हैं तो आपको आपकी तरफ से आपकी परिसंपत्तियों की देखभाल करने के लिए एक व्यक्ति को नियुक्त करना चाहिए। यह व्यक्ति आपका दोस्त या परिवार या एक केयरटेकर भी हो सकता है जिसके नाम से आपको अपनी अनुपस्थिति में आपकी संपत्ति से संबंधित सारे काम करने का लिखित पॉवर ऑफ अटॉर्नी देना होगा। इसमें आपकी तरफ से बिक्री संबंधी लेनदेन भी शामिल हो सकता है।

भारत में आप कहां पैसे निवेश कर सकते हैं?
भारत, दुनिया में सबसे तेजी से बढ़ने वाले GDP वाले देशों में से एक है। आप इस विकास की कहानी से दूर रहना नहीं चाहेंगे। यहां निवेश करने के लिए कई ऑप्शन मौजूद हैं जैसे रियल एस्टेट, शेयर बाजार, म्यूचुअल फंड, NCD, NPS, बैंक FD, इत्यादि। यदि आप अमेरिका और कनाडा में रहने वाले NRI हैं और म्यूचुअल फंड में निवेश करना चाहते हैं तो प्रतिबंधों का ध्यान रखें क्योंकि सिर्फ कुछ म्यूचुअल फंड कंपनियां ही इन देशों से आने वाले निवेशों को स्वीकार करती हैं।

यदि आप एक भारतीय बैंक में पैसे रखना चाहते हैं
यदि आप विदेश में रहने के दौरान किसी भारतीय बैंक में पैसे रखना चाहते हैं तो आपको एक ऐसा बैंक ढूंढना चाहिए जिसकी शाखा उस देश में भी हो जहां आप रहते हैं। एक भारतीय बैंक में पैसे रखने से आपको, अस्थायी या स्थायी रूप से वापस भारत लौटने पर, अपने पैसों को आसानी से मैनेज करने में मदद मिल सकती है।

मुद्रा दर में होने वाले उतार-चढ़ाव का ख्याल रखें
आपको भारत में निवेश करते समय या लोन लेते समय मुद्रा में होने वाले उतार-चढ़ाव का ध्यान रखना चाहिए। विदेशी मुद्रा के मुकाबले भारतीय रुपए के मूल्य में थोड़ा सा भी परिवर्तन होने से आपके प्रभावी रिटर्न पर काफी असर पड़ सकता है।

लोन लेने से पहले अपने विकल्पों का मूल्यांकन करें
एक NRI होने के नाते, आपको अपने निवास वाले देश में भारतीय और अंतरराष्ट्रीय दोनों तरह के बैंकों से लोन लेने का लाभ मिलता है। कोई भी लोन लेने से पहले उसकी ब्याज दर, प्रचलित महंगाई दर, शुल्क और मुद्रा दर में होने वाले उतार-चढ़ाव जैसे कारकों पर विचार करके अपने लिए उपलब्ध सबसे अच्छे ऑप्शन का मूल्यांकन करें।

अपने टैक्स को मैनेज करें
एक NRI होने के नाते, आपको अपने निवास देश और भारत दोनों देशों के टैक्स कानून का पालन करना पड़ता है। भारत में टैक्स कटौती लाभ, NRI और भारतवासियों दोनों के लिए कमोबेश एक जैसा ही है। फिर भी, आप चाहें तो टैक्स अनुशासन का पालन करने के लिए किसी टैक्स सलाहकार से सलाह-मशवरा कर सकते हैं।

भारतीय अर्थव्यवस्था में क्या हो रहा है, इसकी जानकारी रखें
यदि भारत में आपकी अपनी संपत्ति है या आपने पैसे निवेश किए हैं तो देश में होने वाले नीति और नियामक सम्बन्धी बदलावों की जानकारी रखना जरूरी है। आपके पैसे पर, टैक्स नियमों में होने वाले परिवर्तनों और आर्थिक सुधारों का काफी असर पड़ सकता है, इसलिए आपको सभी संबंधित परिवर्तनों की जानकारी रखनी चाहिए।

हेल्थ इंश्योरेंस पॉलिसी लें
NRI अक्सर किसी स्वास्थ्य सम्बन्धी समस्या से निपटने के लिए भारत में इलाज करवाना पसंद करते हैं क्योंकि उनकी देखभाल करने के लिए उनका परिवार वहां उनके साथ होता है। इसलिए भारत में हेल्थ पॉलिसी लेना हमेशा उपयोगी साबित होता है। आप दिए गए प्रीमियम पर धारा 80D के अंतर्गत टैक्स लाभ के लिए क्लेम कर सकते हैं और भारत से उपार्जित आय के लिए टैक्स देनदारी को कम कर सकते हैं। लेकिन, अपनी पॉलिसी में मिलने वाले भौगोलिक कवरेज की जांच कर लें क्योंकि आपको जरूरत पड़ने पर अपने निवास देश में इलाज करवाना पड़ सकता है। इसके अलावा, हेल्थ केयर लागत और एक्सचेंज रेट में अंतर होने के कारण इस तरह का कवर भारत में ज्यादा और विदेश में कम उपयोगी साबित हो सकता है।

यदि आप भारत वापस लौटना चाहते हैं
विदेश में रहते समय आपके लिए एक महत्वपूर्ण फैसला लेना जरूरी होता है कि आप वहीं विदेश में रहना चाहते हैं या भारत वापस लौटना चाहते हैं। यदि आप वापस लौटने की योजना बना रहे हैं तो आप विदेश में अपना सारा कर्ज चुकाने और भारत में अपने निवेश को बढ़ाने की कोशिश कर सकते हैं। वापस लौटने से पहले एक अच्छी खासी रकम तैयार कर लें और जल्द से जल्द एक संपत्ति खरीद लें। यदि आप विदेश में रहने के दौरान ही एक संपत्ति खरीदना चाहते हैं तो आपको किसी भारतीय बैंक के माध्यम से भारतीय मुद्रा में इसे खरीदना पड़ेगा।
लेखक बैंक बाजार डॉट कॉम के CEO हैं।

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