कांग्रेस महाधिवेशन में कैप्‍टन अमरिंदर सिंह का भाषण शुरू होते ही हॉल से निकल गए नवजोत सिंह सिद्धू

दिल्ली में शनिवार (17 मार्च) को कांग्रेस के 84वें महाअधिवेशन में पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह बोलने के लिए आए तो कांग्रेस नेता नवजोत सिंह सिद्धू वहां से उठकर चले गए। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक सिद्धू का यह बर्ताव पंजाब कांग्रेस में दरार होने के संकेत दे रहा है। महाअधिवेशन से जाते वक्त सिद्धू ने मीडिया से भी कोई बात नहीं की। कैप्टन अमरिंदर सिंह ने कृषि, रोजगार और गरीबी उन्मूलन को लेकर अधिवेशन में प्रस्ताव रखा, जिसे पेश करते हुए उन्होंने केंद्र की बीजेपी सरकार पर जमकर हमला किया। कैप्टन ने कहा कि बीजेपी किसानों से किए वादे पूरे नहीं कर सकी और अब 2022 तक उनकी आमदनी दोगुनी करने के सपने उन्हें दिखा रही है। उन्होंने कहा पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह की सरकार के मुकाबले एनडीए की पूर्व और वर्तमान सरकारों में कृषि क्षेत्र की विकास दर आधी देखी गई। बता दें कि कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने सत्तारूढ़ मोदी सरकार पर हमलावर रुख अपनाते हुए कहा- ”देश को इन दिनों बांटने का काम चल रहा है। एक आदमी को दूसरे से लड़ाया जा रहा है।”

सोनिया गांधी ने कहा कि हमारे अस्तित्व को मिटाने की चाह रखने वालों को पता नहीं था कि कांग्रेस किस तरह से लोगों के दिलों में है। सोनिया ने मोदी सरकार को अहंकारी सरकार बताते हुए कहा कि कांग्रेस उनके भ्रष्टाचारों का साक्ष्यों समेत खुलासा कर रही है। सोनिया मे 2014 में मोदी के दिए गए नारे ‘सबका साथ-सबका विकास’ और ‘न खाऊंगा, न खाने दूंगा’ को ड्रामेबाजी करार दिया। महाअधिवेशन में कांग्रेस ने 2019 में भाजपा को हराने के लिए अपनी रणनीति भी जाहिर की। कांग्रेस की तरफ से कहा गया कि पार्टी समान विचारधारा वाले दलों के साथ सहयोग करने के लिए तैयार है। कांग्रेस नेता म​ल्लिकार्जुन खड़गे ने इस बाबत प्रस्ताव पेश किया।

प्रस्ताव में कहा गया कि संवैधानिक मूल्यों की बुनियाद पर खतरा पैदा हो गया है, आजादी खतरे में है, संस्थानों पर भारी दबाव है और उनकी आजादी से समझौता हो रहा है, इसलिए गणराज्य को हर कीमत पर बचाना होगा। कांग्रेस के महाअधिवेशन में लोकसभा और राज्यों के चुनावों को एकसाथ कराने को लेकर भी प्रस्ताव पेश किया गया जिसमें इन चुनावों को एकसाथ कराने के पीछे भाजपा की चाल बताई गई। कांग्रेस ने इसके लिए सहमति बनाने की आवश्यकता पर जोर दिया।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *