पश्चिम बंगाल में हिंसक भीड़ को रोकने के लिए हाथ जोड़कर बैठ गई महिला अफसर, जमकर हो रही तारीफ
सोशल मीडिया पर इन दिनों एक महिला की बहुत तारीफ की जा रही है जो कि हाथ में लाठियां, तीर और कुल्हाड़ी लिए जंगल में शिकार पर जा रहे लोगों के पैरों में नीचे बैठकर उनसे ऐसा न करने की अपील करती हुई देखी गई थीं। इस महिला का नाम पूरबी महतो है जो कि पश्चिम बंगाल के मिदनापुर की एडिशनल डिविज़नल फोरेस्ट ऑफिसर हैं। यूपी के वरिष्ठ पुलिस अधिकारी नवनीत सिकेरा ने अपने फेसबुक पेज पर पूरबी महतो की कुछ फोटो शेयर करते हुए उनकी खूब तारीफ की है। वहीं कई सोशल मीडिया यूजर्स पूरबी महतो के इस कार्य की जमकर तारीफ कर रहे हैं।
यह घटना मंगलवार की है। करीब 5 हजार आदिवासी फेस्टीवल हंट के लिए लालगढ़ के पास के जंगलों में जा रहे थे। इस बारे में जैसे ही पूरबी महतो को पता चला वह अपने अधिकारियों के साथ वहां जा पहुंची। पूरबी महतो ने जमीन पर बैठकर आदिवासियों के आगे हाथ जोड़कर उनसे विन्नती की कि वे ऐसा न करें। टेलीग्राफ की रिपोर्ट के अनुसार, पूरबी महतो ने आदिवासियों से कहा, “अगर आप अभी भी शिकार के लिए जाना चाहते हैं तो आप जा सकते हैं लेकिन उससे पहले आप अपने डंडों और कुल्हाड़ी से मेरी हत्या कर दीजिए।”
पूरबी महतो की विन्नती के बाद काफी ज्यादा संख्या में आदिवासी वापस लौट गए तो कुछ ने उनकी बात नहीं मानी और वे जंगल में शिकार करने चले गए। एक आदिवासी समूह का नेतृत्व कर रहे दिनेन हैमब्राम नाम के व्यक्ति ने कहा कि यह महा शिकार त्योहार हमारी परंपरा है लेकिन वह महिला आंखों में आंसू लिए हमारे बुजुर्गों के पैरों को छूकर विन्नती करने लगी कि हम शिकार न करें और इसीलिए पहली बार ऐसा हुआ है कि हम बिना शिकार किए अपने घर वापस लौट गए। वहीं इस मामले पर टेलिग्राफ से बातचीत के दौरान पूरबी महतो ने कहा कि मेरे पिछले 17 साल के करियर में मैंने ऐसा पहली बार किया है।