नमाज के बीच ‘जय श्री राम’ के नारे, फिल्‍म डायरेक्‍टर ने कहा- हिन्‍दू होने पर शर्मिंदा हूं

हरियाणा में नमाज के बीच कुछ लोगों द्वारा ‘जय श्रीराम’ का नारा लगाने के मामले पर सख्त प्रतिक्रियाओं के आने का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है। पूर्व पत्रकार और फिल्म निर्देशक विनोद कापड़ी ने इस घटना पर तीखी टिप्पणी की है। उन्होंने ट्वीट किया, ‘नफरत फैलाने वालों के देश में स्वागत है…आज मैं शर्मिंदा हूं कि मैं भारतीय हूं। मैं हिंदू होने को लेकर भी शर्मिंदा हूं।’ इससे पहले आलमगीर रिजवी ने इस वाकये पर तीखी प्रतिक्रिया जताई थी। उन्होंने ट्वीट किया था, ‘हेलो नरेंद्र मोदी जी! क्या यह आतंकवाद नहीं है? यदि आपकी आंखें और कान हैं तो इसे देखिए । इससे यह स्पष्ट होता है कि भारत में संघी आतंकवाद मौजूद है। मुस्लिम भाइयों का धन्यवाद जिन्होंने शांति बनाए रखी। यह लोकतंत्र नहीं है।’ रिजवी ने बताया कि यह घटना शुक्रवार (20 अप्रैल) की है। आम आदमी पार्टी की नेता और चांदनी चौक से विधायक अलका लांबा ने इस घटना का वीडियो ट्वीट किया था। आप नेता ने लिखा था, ‘मैं सलाम करती हूं अपने सभी इन मुस्लिम भाइयों कोक जो चंद अराजक तत्वों के उकसाने पर भी शांत रहे। उनके मकसद को नाकाम कर दिया है। वे आपको भड़काने और दंगा कराने के लिए ‘जय श्रीराम’ का नारा लगाते हुए आए थे। शर्म आती है इन गुंडों-मवालियों पर जो हिंदू धर्म की आड़ में यह सब कर रहे हैं।’

 

 

 

अलका लांबा द्वारा पोस्ट वीडियो में मुस्लिम समुदाय के लोग जमीन पर चटाई बिछाकर नमाज पढ़ने की तैयारी में दिख रहे हैं। उसी वक्त वहां कुछ युवक वहां ‘जय श्रीराम’ ‘राधे-राधे’ का नारा लगाते हुए पहुंच गए थे। वीडियो में युवकों को वहां मौजूद लोगों से जय श्रीराम बोलने के लिए भी कहते हुए सुना जा सकता है। इसके बाद नमाज पढ़ने के लिए इकट्ठा हुए लोग एक-एक कर वहां से चले गए थे। विनोद कापड़ी के ट्वीट पर कई लोगों ने तीखी टिप्पणी की। सफदर बेग ने ट्वीट किया, ‘दो-चार लुच्चे-लफंगों के लिए अपने मजहब से शर्मिंदा नहीं होना चाहिए। हां, उन लफंगों को शर्म आनी चाहिए कि वे हिंदू धर्म की बदनामी का कारण बन रहे हैं। हमलोग पहले भारतीय हैं, उसके बाद हिंदू और मुसलमान। हमलोग महान धर्म को बदनाम करने की इजाजत नहीं दे सकते हैं।’ कुमार विवेक ने लिखा, ‘आपको जरूर शर्मिंदा होना चाहिए क्योंकि आप भारतीय नहीं हैं।’ राधिका ने ट्वीट किया, ‘यदि आप एक भारतीय के तौर पर शर्मिंदा महसूस कर रहे हैं तो इंडिया छोड़ दीजिए। यहां किसी को भी आपकी जरूरत नहीं है। किसने रोका है आपको? इतनी शर्म आ रही है तो मुस्लिम बन जाइए…हिंदू बने रहने को किसने कहा है।’

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