बीजेपी के शत्रु का नया वार- पीएम मोदी रियल प्रेस कॉन्फ्रेन्स में असली सवालों का जवाब दें
पूर्व केंद्रीय मंत्री और भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के सांसद शत्रुघ्न सिन्हा ने कर्नाटक में बीजेपी सरकार गिरने के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर नया हमला बोला है। उन्होंने कहा है कि अब प्रधानमंत्री को असली लोगों के असली और वास्तविक सवालों का जवाब देना चाहिए। उन्होंने ट्वीट किया है, “महोदय… अब एक पूर्ण प्रेस प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करने का समय आ गया है, असली और वास्तविक नागरिकों से असली और वास्तविक प्रश्नों का उत्तर दें… सिर्फ सरकारी दरबारियों और चमचों से नहीं… जय हिंद!” अपने दूसरे ट्वीट में शत्रुघ्न सिन्हा ने लिखा है, “महोदय। लोग क्यों कह रहे हैं कि तथाकथित गॉडफादर को इस्तीफा देना चाहिए या पार्टी को इस तरह की गड़बड़ी में लाने के लिए हटा दिया जाना चाहिए, क्योंकि उनलोगों ने धन, बल और सरकार की विशाल शक्ति का दुरुपयोग कर लोकतंत्र को मारने की कोशिश की है और पूरे भारत और दुनिया में पार्टी का नाम खराब किया है। सत्यमेव जयते! जय हिंद!”
शत्रुघ्न सिन्हा के इस ट्वीट पर कई लोगों ने प्रतिक्रिया जाहिर की है। एक यूजर ने लिखा है, “इसमें नैतिक साहस और आत्मबल की आवश्यकता होती है मान्यवर.. अपने चार साल के शासनकाल मे ऐसा साहस तो कभी दिखाया नहीं…. अधिनायकवादी चरित्र अपनी सुनाते है, आत्मग्लानी उन्हें आम जनता का सामना करने से डराती है, और ये कायरता उन्हें आक्रमक बनाती है. श्री मोदी फ़ासीवादी की नयी इतिहास लिखेगें।” दूसरे यूजर ने लिखा है, “अरे सर ममता दीदी से भी सवाल करो की क्या वो लोकतंत्र की हत्या नहीं कर रही है? “Ballot Box” ग़ायब करवा के ज़बरदस्ती बूथ capturing करवा करके अपने candidate के ग़लत वोटिंग। हर जगह दंगा। ज़रा दीदी से बोलो press conference करे। है हिम्मत बोलने की??” एक अन्य यूजर ने लिखा है, “आप 2019 का चुनाव बड़े मार्जिन से हारेंगे, मंत्री तो दूर सांसद पद से भी हाथ धो लेंगे…”
बता दें कि शनिवार (19 मई) को कर्नाटक में बीजेपी की येदियुरप्पा सरकार ढाई दिन में ही गिर गई। सीएम येदियुरप्पा ने विधान सभा में बहुमत साबित करने से पहले ही अपने इस्तीफे का एलान कर दिया। हाल के कर्नाटक विधान सभा चुनावों में बीजेपी 104 सीट जीतकर सबसे बड़ी पार्टी बनी थी। किसी भी एक दल को बहुमत नहीं मिला है। कांग्रेस और जेडीएस को क्रमश: 78 और 38 सीटें मिली थीं। चुनाव बाद इन दोनों दलों ने गठजोड़ कर सरकार बनाने का दावा पेश किया था लेकिन राज्यपाल ने बीजेपी को सरकार बनाने के लिए आमंत्रित किया था। बाद में मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंचा, जहां से 28 घंटे के अंदर बहुमत परीक्षण का आदेश हुआ।