स्‍मृति ईरानी बोलीं- काम से होना चाहिए मेरा मूल्‍यांकन, फुटवियर से नहीं

केंद्रीय मंत्री स्‍मृति ईरानी ने पहनावे को लेकर की जाने वाली टिप्‍पणी पर करारा पलटवार किया है। उन्‍होंने कहा कि उनका मूल्‍यांकन उनके काम से होना चाहिए न कि उनके फुटवियर से। स्‍मृति ईरानी ने वस्‍त्र और फैशन उद्योग को समान रूप से प्राथमिकता देने की बात कही है। ‘हिंदुस्‍तान टाइम्‍स’ को दिए इंटरव्यू में केंद्रीय मंत्री ने कहा कि वस्‍त्र उद्योग को लोग अपने-अपने तरीके से देखते हैं। उन्‍होंने बताया कि कपड़ा उद्योग के सभी लोग जब नीति बनाने के लिए एक साथ बैठते हैं तो उससे सकारात्‍मक संदेश जाता है। स्‍मृति ईरानी ने बताया कि भारत में अब ज्‍यादा से ज्‍यादा लोग पहनावे को लेकर प्रयोग कर रहे हैं। उन्‍होंने कहा, ‘अब वह समय गया जब लोग कहते थे कि उनके पास भी एक अच्‍छा सूट है। यह दो से तीन साल तक चल जाएगा। अब हकीकत यह है कि भारत में पुरुष फैशन को लेकर ज्‍यादा सजग होते जा रहे हैं। ऐसा मान लिया जाता है कि महिलाएं कपड़ों के साथ ज्‍यादा प्रयोग करती हैं। लेकिन, अब पुरुष भी इस मामले में आगे बढ़ रहे हैं। महत्‍वाकांक्षी भारत अच्‍छे कपड़ों की भी चाहत रखता है।’

वस्‍त्र उद्योग में रोजगार की काफी संभवनाएं: स्‍मृति ईरानी ने बताया कि कपड़ा मंत्रालय को आमतौर पर बेकार समझा जा सकता है। वे इस बात को नहीं समझते हैं कि इस सेक्‍टर में रोजगार की अपार संभावनाएं हैं। इसके अलावा, भारत की सांस्‍कृतिक विरासत कपड़ों में ही दिखती है। टेक्‍सटाइल सेक्‍टर के कई पहलू हैं। जैसे उद्योग, डिजाइन और सांस्‍कृतिक पहलू। उन्‍होंने हैंडलूम को भी बढ़ावा देने की बात कही है। केंद्रीय मंत्री ने हैंडलूम को बढ़ावा देने के लिए सोशल नेटवर्किंग साइट पर बाकायदा अभियान भी चलाया था। उन्‍होंने बताया कि हैंडलूम का हैशटैग भारत ही नहीं, बल्कि दुनिया भर में बेहद लोकप्रिय हुआ था। स्‍मृति ईरानी ने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हैंडलूम ब्रांड को लोकप्रिय बनाने का अभियान शुरू किया था। उनके मुताबिक, हैंडलूम को लेकर एक कार्यक्रम का आयोजन किया गया था। पीएम मोदी को जब इसका पता चला तो उन्‍होंने कहा था कि वह भी इसमें शामिल होने के लिए आ रहे हैं। बता दें कि जीएसटी के अमल में आने से कपड़ा उद्योग सबसे ज्‍यादा प्रभावित हुआ था। गुजरात में कई हैंडलूम बंद होने की खबरें सामने आई थीं।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *