निकाह हलाला के खिलाफ याचिका दायर करने वाली महिला को मिल रही बलात्कार, हत्या की धमकियां
सुप्रीम कोर्ट में निकाह हलाला के खिलाफ याचिका दायर करने वाली दिल्ली की एक महिला ने आरोप लगाया है कि उसे बलात्कार और हत्या की धमकियां मिल रही हैं। टाइम्स नाउ की रिपोर्ट के मुताबिक महिला ने ओखला में किराये पर एक मकान लिया था, जिस दिन वह अपना सामान लेकर मकान में रहने के लिए गई तो कुछ लोगों ने उससे झगड़ा कर लिया और तमाम धमकियां दीं। महिला ने समचार चैनल को बताया कि उसे 10 हजार रुपये प्रति माह किराये पर फ्लैट मिला था। सभी औपचारिकताएं पूरी करने के बाद बीते बुधवार (27 जून) को वह फ्लैट में शिफ्ट होने के लिए गई। फ्लैट के रास्ते में एक कोने पर एक निर्माणाधीन इमारत का मलबा फैला होने के कारण उसकी टैंपो नहीं निकल पा रही थी, जिसमें वह घर का सारा सामान लाई थी। पीड़िता के मुताबिक उसने मजदूरों से मलबा हटाने के लिए कहा तो ठेकेदार और मजदूरों ने बदतमीती शुरू कर दी। उसे मजबूरन 100 नंबर पर कॉल करके पुलिस बुलानी पड़ी।
पीड़िता ने बताया कि पहले उसे लगा कि यह मलबे को लेकर लोगों का गुस्सा है लेकिन कुछ देर बार कहानी कुछ और ही निकली। महिला के मुताबिक उसे निकाह हलाला और बहुविवाह के खिलाफ उसकी याचिका वापस लेने के लिए कहा गया। पीड़िता ने बताया कि उसका सारा सामान टैंपो में वापस फेंक दिया गया और उसके कपड़े फाड़ दिए गए। महिला ने आरोप लगाया कि लोगों ने उसका बलात्कार करने और उसके बच्चे को जिंदा जलाने की धमकियां दीं। पीड़िता ने कहा कि लोगों ने उसे मुस्लिम विरोधी और बीजेपी और आरएसएस का एजेंट कहा।
अंग्रेजी समाचार चैनल के मुताबिक पीड़िता की पहली शादी 1999 में हुई थी और उससे उसके दो बच्चे हैं। बाद में उसके पति ने उसे तीन तलाक दे दिया था। महिला ने परिवार वालों के दबाव में दूसरी शादी की लेकिन दूसरे पति ने भी उसे तीन तलाक दे दिया। पीड़िता अब अपनी मां और तीन बच्चों के साथ रहती है। बता दें कि इसी वर्ष मार्च में शीर्ष अदालत की तीन न्यायाधीशों सीजेआई दीपक मिश्रा, जस्टिस एएम खानविलकर और डीवाई चंद्रचूड़ शामिल की खंडपीठ ने निकाह हलाल और बहुविवाह को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुनवाई के लिए सहमति बनाई थी। तब केंद्र और कानून मंत्रालय को नोटिस जारी किया गया था कि मामला संविधान बेंच को भेजा जाएगा।