पाकिस्तान के चुनावी मुकाबले में पहली बार किस्मत आजमाएगी हिन्दू महिला

पाकिस्तान के सिंध प्रांत से पहली बार एक हिन्दू महिला 25 जुलाई को होने वाले प्रांतीय असेंबली चुनाव में किस्मत आजमाएगी। मुस्लिम बहुल पाकिस्तान में पहली बार अल्पसंख्यक समुदाय की किसी महिला ने चुनाव लड़कर इतिहास रचा है। मेघवार समुदाय की 31 वर्षीय सुनीता परमार ने थारपरकर जिले में सिंधु असेंबली निर्वाचन क्षेत्र पीएस -56 के लिए निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर नामांकन भरा है। पाकिस्तान में सबसे ज्यादा हिंदु इसी जिले में रहते हैं। मीडिया में आई एक खबर के मुताबिक मौजूदा स्थिति को बनाए रखने को लेकर आत्मविश्वास से भरी परमार का कहना है कि उन्होंने चुनाव लड़ने का फैसला इसलिए किया क्योंकि पूर्व की सरकारें उनके निर्वाचन क्षेत्र के लोगों से किए गए वायदों को पूरा करने और उनका जीवन स्तर सुधारने में असफल रहीं।

परमार ने कहा, ‘‘पिछली सरकारों ने इस इलाके के लिए कुछ भी नहीं किया। 21वीं शताब्दी में रहने के बावजूद महिलाओं के लिए मूल स्वास्थ्य सुविधाएं और शैक्षणिक संस्थान नहीं हैं।’’ एपीपी समाचार एजेंसी ने परमार के हवाले से कहा, ‘‘वे दिन गए जब महिलाओं को कमजोर और कमतर आंका जाता था।

मैं इन चुनावों को जीतने को लेकर आश्वस्त हूं…यह 21वीं सदी है और हम शेर से भी लड़ने के लिए तैयार हैं।’’ सुनीता ने अपने क्षेत्र की महिलाओं के लिए शिक्षा का स्तर सुधारने और स्वास्थ्य सुविधाओं को बेहतर करने की प्रतिबद्धता जाहिर की है। मार्च में एक अन्य हिंदू दलित महिला कृष्णा कुमारी कोल्ही पाकिस्तान की पहली महिला सीनेटर बनी थीं।

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