दिल्ली पुलिस मुख्यालय की दसवीं मंजिल से कूदकर एक सहायक पुलिस आयुक्त (एसीपी) ने कर ली आत्महत्या

दिल्ली पुलिस मुख्यालय की दसवीं मंजिल पर स्थित अपने दफ्तर की खिड़की से कूदकर एक सहायक पुलिस आयुक्त (एसीपी) प्रेम बल्लभ ने आत्महत्या कर ली। पुलिस को घटना की सूचना गुरुवार सुबह 10:15 बजे मिली थी। घटना के बाद मुख्यालय में हड़कंप मच गया। वहां मौजूद पुलिस के आला अधिकारी भी अपने दफ्तरों से बाहर निकले और घटनास्थल पर पहुंचे। आनन-फानन में प्रेम बल्लभ को पास के अस्पताल में पहुंचाया गया जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। प्रेल बल्लभ को साल 2016 में सराहनीय सेवाओं के लिए राष्ट्रपति से पुरस्कार भी मिला था। बताया जा रहा है कि वह अवसाद में थे। वहीं, मध्य रेंज के संयुक्त आयुक्त राजेश खुराना ने बताया कि शुरुआती छानबीन में पता चला है कि वह कुछ दिनों से बीमार चल रहे थे और हाल में ही छुट्टी से दफ्तर लौटे थे। कहा जा रहा है वह पिछले कुछ महीनों से मानसिक तनाव में थे। इस कारण उन्होंने यह कदम उठाया है। वहीं, परिजन मानसिक तनाव की बात से इनकार कर रहे हैं। इनका कहना है कि उनका किसी प्रकार का घरेलू कलह नहीं था। उनके हाथ पैर में कंपन होता था। इसका इलाज जीटीबी अस्पताल में चल रहा था, लेकिन उनकी सभी रिपोर्ट सही पाए गए हैं।

पुलिस को घटनास्थल से कोई सुसाइड नोट नहीं मिला है। इस कारण मौत के सही कारणों का पता नहीं चल सका है। फिलहाल आइपी स्टेट थाना पुलिस इस मामले में परिजनों और उनके विभाग के पुलिसकर्मियों से पूछताछ कर मामले की छानबीन कर रही है। एसीपी के भाई हरीश ने बताया कि उनका संयुक्त परिवार मौजपुर के विजय पार्क, गली नंबर दो में रहता है। जिस मकान में प्रेम बल्लभ रहते थे उसी मकान में अन्य मंजिल पर उनके दो भाई कमल शर्मा और हरिश शर्मा रहते हैं। उनके पिता की मृत्यु 1991 में हो गई थी। परिवार में बुजुर्ग मां शारदा देवी, पत्नी दीपा, बेटे राहुल, कपिल और रोहित हैं। राहुल और कपिल नौकरी करते हैं, जबकि राहुल पढ़ाई कर रहा है। प्रेम बल्लभ की मां उन्हीं के साथ रहती हैं। उनके भाई कमल दिल्ली प्रदूषण विभाग में कार्यरत हैं, जबकि हरिश भी एक निजी कंपनी में कनॉट प्लेस में काम करते हैं।

हरीश ने बताया कि प्रेम बल्लभ दफ्तर में हमेशा समय पर पहुंचते थे। हर दिन की तरह गुरुवार सुबह वह करीब 8:45 बजे अपने दफ्तर के लिए घर से निकले थे। वहीं, पीएचक्यू के अधिकारियों ने भी बताया कि वह समय पर दफ्तर पहुंच गए थे। उसके बाद वह अपने कैबिन में चले गए। इस दौरान उन्होंने अपने विभाग के उच्च अधिकारी से भी बातचीत की। दफ्तर के अन्य कर्मचारी अपने-अपने काम में व्यस्त हो गए। इसी बीच अपने दफ्तर के दसवीं मंजिल से उन्होंने छलांग लगा दी। उनके नीचे गिरने की आवाज सुनकर सुरक्षा में तैनात पुलिस के जवान घटनास्थल पर पहुंचे और इसकी जानकारी अधिकारियों को दी।

प्रेम बल्लभ की अधिकतर समय पीएचक्यू में ही तैनाती रही। कुछ समय के लिए वह जिले में भी रहे, लेकिन उपायुक्त कार्यालय में ही उनकी तैनाती रही। फिलहाल वह पीएचक्यू के सेकेट्रियल विभाग में एसीपी के पद पर कार्यरत थे। वह साल 2016 में सहायक पुलिस आयुक्त बने थे। वह काफी मिलनसार स्वभाव के थे। उनकी आत्महत्या के बाद जहां एक ओर परिवार वाले सदमे में हैं वहीं, सहकर्मियों का भी कहना है कि वे अपने काम के प्रति कहीं अधिक निष्ठावान थे।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *