घर में मृत मिले थे डाक्टर बाप और बेटी, सामने आया सुसाइड नोट, उनके अनुरोध सुन भर जाएंगी आपकी आंखें
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Doctor Father and Daughter Suicide case : राजधानी भोपाल में एक 82 वर्षीय होम्योपैथी चिकित्सक और उसकी बेटी रविवार को अपने घर में मृत पाए गए. मृत बाप-बेटी काफी दिनों से अवसाद में थे. दोनों के सुसाइड की पुष्टि घर से बरामद सुसाइड नोट से हो चुकी है. सुसाइड नोट में चिकित्सकों द्वारा किए गए अनुरोध ने पुलिस भी चकित रह गई.
रविवार को घर में मिले 82 वर्षीय होम्योपैथी चिकित्सक हरकिशन शर्मा और उनकी बेटी के शव से शहर में हड़कंप मच गया. शवों के पास से बरामद सुसाइड नोट में बाप-बेटी ने शवों को दान करने का आग्रह किया है. बाप-बेटी ने अपने शवों को चिकित्सक अध्ययन के लिए दान किया है.
चिकित्सक के घर में मिला चार पन्नों का सुसाइड नोट
रिपोर्ट के मुताबिक होम्योपैथी चिकित्सक के घर में मिला सुसाइड नोट कुल चार पन्नों का है. सुसाइड नोट कथित रूप से डॉक्टर हरिकिशन शर्मा ने बाप-बेटी के शवों को मेडिकल अध्ययन के लिए दान करने का आग्रह किया है. सुसाइड नोट कहा गया है कि दोनों बाप-बेटी 4 वर्ष पहले पत्नी और मां को खोने के गम से उबर नहीं पाए हैं और अवसाद में चल रहे थे.
डाक्टर पिता की बेटी भी थी होम्योपैथी की चिकित्सक
पुलिस निरीक्षक अवधेश सिंह तोमर ने बताया कि चिकित्सक ने खुद को फांसी लगा ली, लेकिन अभी यह स्पष्ट नहीं हो पाया है कि उनकी बेटी चित्रा की मौत कैसे हुई. फिलहाल, पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट का इंतजार किया जा रहा है. उन्होंने बताया कि सुसाइड नोट में चिकित्सक ने उनके शवों को एम्स को दान करने की इच्छा जताई है, ताकि मेडिकल छात्रों को मानव अंगों पर अध्ययन करने में मदद मिल सके.
बहुत पहले ही बेटे को खोने और फिर पत्नी को खोने के बाद अवसाद से पीडित रहने लगे थे. पिता-पुत्री की जोड़ी ने कोविड-19 महामारी के दौरान अनेक लोगों का इलाज किया था. दोनों बाप-बेटी चिकित्सा संबंधी आपात स्थितियों के दौरान भी लोगों और पुलिस की मदद किया करते थे.
मां की मौत के बाद बेटी चित्रा भीअवसाद से जूझ रही थी
एसीप ने बताया कि 82 वर्षीय बुजुर्ग चिकित्सक ने सुसाइड नोट में लिखा है कि उनकी पत्नी की मौत ने उन्हें भावनात्मक रूप से तोड़ दिया है और उनकी तबीयत भी ठीक नहीं है, साथ ही, उन्हें अपनी बेटी की देखभाल करना भी मुश्किल होता जा रहा है, क्योंकि उनकी बेटी चित्रा भी मां की मौत के बाद अवसाद से जूझ रही है.
बेटी के भविष्य को लेकर चिंतित रहते थे बुजुर्ग चिकित्सक
पुलिस अधिकारी ने बताया कि मृत चिकित्सक शर्मा ने बहुत पहले ही अपने बेटे को खो दिया था और पिता-पुत्री की जोड़ी ने कोविड-19 महामारी के दौरान अनेक लोगों का इलाज किया था. उन्होंने बताया कि चिकित्सा संबंधी आपात स्थितियों के दौरान बाप और बेटी ने लोगों और पुलिस की बहुत मदद करते थे.
पुलिस निरीक्षक अवधेश सिंह तोमर ने बताया कि डिस्पेंसरी में मृत पाए गए चिकित्सक ने खुद को फांसी लगा ली, लेकिन अभी यह स्पष्ट नहीं हो पाया है कि उनकी बेटी चित्रा की मौत कैसे हुई. फिलहाल, पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट का इंतजार किया जा रहा है.
डिस्पेंसरी में फांसी के फंदे पर लटके मिले थे डाक्टर शर्मा
तोमर ने बताया कि एक मरीज शर्मा के घर गया, जहां उनकी डिस्पेंसरी थी, लेकिन आधे घंटे तक किसी ने दरवाजा नहीं खोला. उन्होंने कहा कि मरीज ने इस बारे में पड़ोसियों को बताया तो उन्होंने घर में झांककर देखा जहां शर्मा फंदे से लटके दिखे। इसके बाद उन्होंने पुलिस को फोन किया.