Muharram 2017: जानिए भारत में इस वर्ष कब है मुहर्रम, नहीं है ये जश्न का दिन

मुहर्रम का महीना इस्लाम धर्म का पहला महीना होता है। इसे एक बहुत पवित्र महीना माना जाता है। इसे हिजरी भी कहा जाता है। इसे मुस्लिम संप्रदाय के लोग मनाते हैं। हिजरी सन की शुरुआत इसी महीने से होती है। इस्लाम धर्म में चार पवित्र महीने होते हैं, उनमें से एक पवित्र महीना मुहर्रम का होता है। मुहर्रम शब्द में से हरम का मतलब होता है किसी चीज पर पाबंदी और ये मुस्लिम समाज में बहुत महत्व रखता है। मुहर्रम की तारीख हर साल बदलती रहती है, क्योंकि इस्लाम का कैलेंडर एक लूनर कैलेंडर होता है। इस साल मुहर्रम महीने की शुरुआत 21 सितंबर से लेकर 19 अक्टूबर तक रहेगी। मुहर्रम में एक विशेष दिन सभी मुस्लिम शोक मनाते हैं। ये दिन मुहर्रम महीने का 10 वां दिन होता है। इस दिन से इस्लामिक कैलेंडर की शुरुआत होती है।

इस दिन को इस्लाम में एक गम के रुप में मनाया जाता है। दरअसल इराक में एक यजीद नाम का बादशाह था जो बहुत जालिम था। हजरत इमाम हुसैन ने उसके खिलाफ जमग का ऐलान कर दिया था। मोहम्मद-ए-मस्तफा के नवासे हजरत इमाम हुसैन को कर्बला नामक स्‍थान में परिवार व दोस्तों के साथ शहीद कर दिया गया था। जिस महीने में हुसैन और उनके परिवार को शहीद किया गया था वह मुहर्रम का ही महीना था। जिस दिन हुसैन को शहीद किया गया वह मुहर्रम के ही महीना था और उस दिन 10 तारीख थी। जिसके बाद इस्‍लाम धर्म के लोगों ने इस्लामी कैलेंडर का नया साल मनाना छोड़ दिया। बाद में मुहर्रम का महीना गम और दुख के महीने में बदल गया।

इस वर्ष 2017 में मुहर्रम का महीना 22 सितंबर से शुरु होगा और “अशुरा” यानि मुहर्रम का मुख्य दिन 01 अक्टूबर को है। मुहर्रम माह के दौरान शिया समुदाय के लोग 10 मुहर्रम के दिन काले कपड़े पहनते हैं। वहीं अगर बात करें मुस्लिम समाज के सुन्नी समुदाय के लोगों की तो वह 10 मुहर्रम के दिन तक रोजा रखते हैं। मुहर्रम के मुख्य दिन लोग इकठ्ठा होकर शोक मनाते हैं और जिन लोगों की मौत उस दिन हुई थी उन्हें शान्ति मिले इसकी दुआ करते हैं। इस पर्व का मुख्य आकर्षण बांस की पतली लकड़ियों से बने ढांचे होते हैं जिन्हें “ताजिया” कहा जाता है। इसका वर्णन इस्लाम धर्म की धार्मिक पुस्तक हदीस में देखने को मिलता है।

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