कर्नाटक में विधानसभा चुनाव में सिद्धरमैया की निंदा करने वाले बीजेपी के ऐड पर चुनाव आयोग ने लगा दी रोक
कर्नाटक में विधानसभा चुनाव के करीब आते ही सत्तारूढ़ कांग्रेस और विपक्षी भाजपा के बीच टकराव बढ़ गया है। चुनाव आयोग ने कांग्रेस की शिकायत पर बीजेपी के विज्ञापन तत्काल रोक लगा दी है। इसमें मुख्यमंत्री सिद्धारमैया की निंदा की गई है। आयोग ने भाजपा के तीन विज्ञापनों पर रोक लगाई है। आयोग का मानना है कि विज्ञापनों में सीएम सिद्धारमैया को गलत तरीके से पेश किया गया है। इसमें सिद्धारमैया सरकार के दौरान विवादों और कथित भ्रष्टाचार के बारे में बताया गया है। दूसरी तरफ, बीजेपी ने दावा किया कि चुनाव आयोग ने सभी विज्ञापनो को मंजूरी दी थी, जिसके बाद उसे ऑन एयर किया गया था। विपक्षी पार्टी ने कहा कि यदि यह किसी को सूट नहीं करता है तो इसका मतलब यह नहीं कि इसे प्रतिबंधित कर देना चाहिए। हालांकि, विज्ञापनों पर फिलहाल अस्थाई रोक लगाई गई है। चुनाव आयोग इस मामले पर सुनवाई कर रहा है। ‘रिपब्लिक टीवी’ के अनुसार, आयोग ने सभी टीवी चैनलों, रेडियो, सोशल मीडिया और डिजिटल माध्यमों में इन विज्ञापनों के प्रसारण को प्रतिबंधित कर दिया है। कांग्रेस ने चुनाव आचार संहिता का उल्लंघन करार देते हुए आयोग में भाजपा के ऐड कैंपेन की शिकायत की थी।
BJP’s vitriolic agenda stumped as EC bans the venemous advts’ of its Karnataka unit facing imminent defeat!
Truth prevails!!! pic.twitter.com/TSo8RpGtAt
— Randeep Singh Surjewala (@rssurjewala) April 27, 2018
आयोग के फैसले का कांग्रेस ने किया स्वागत: कांग्रेस ने बीजेपी के विज्ञापनों पर अस्थाई रोक का स्वागत किया है। पार्टी प्रवक्ता ने कहा, ‘भाजपा का बेहद ही कटु एजेंडा स्टम्प हो गया है, क्योंकि चुनाव आयोग ने बीजेपी की कर्नाटक इकाई के जहरीले विज्ञापन पर रोक लगा दी है। कर्नाटक भाजपा हार से डरी हुई है। सच्चाई की जीत हुई है!’ सुरजेवाला ने आयोग की कार्रवाई से पहले विज्ञापन अभियान को लेकर भाजपा की कड़ी आलोचना की थी। उन्होंने ट्वीट किया था, ‘कर्नाटक में बीजेपी ने जहरीला और निंदनीय विज्ञापन प्रकाशित कर चुनावी अपराध किया है। हमें उम्मी है कि चुनाव आयोग इसमें हस्तक्षेप चुनावी प्रक्रिया की पवित्रता को बरकरार रखेगा।’ बता दें कि कर्नाटक में 12 मई को चुनाव होने वाले हैं। ऐसे में सत्तारूढ़ कांग्रेस और विपक्षी भाजपा के अलावा अन्य दलों ने अपना चुनावी अभियान तेज कर दिया है। विपक्षी दल विज्ञापनों के जरिये सरकार पर हमले बोल रही है। इसी के तहत कांग्रेस ने भाजपा के विज्ञापन को आपत्तिजनक बताते हुए आयोग में शिकायत की थी।