पश्चिम बंगाल के कोलकाता में बुधवार को थाईलैंड की राजधानी बैंकॉक सा नजारा दिखाई दिया। शहर में पहली बार पानी पर तैरती नावों पर बाजार सजा हुआ था। मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने नेता जी इंडोर स्टेडियम में एक रिमोट कंट्रोल के जरिए इसका अनावरण किया। बाजार का निर्माण कोलकाता मेट्रोपॉलिटन डेवलेपमेंट अथॉरिटी (केएमडीए) ने कराया है। बाजार और यहां पर लगाई गईं नाव को तैयार करने के लिए तकरीबन छह करोड़ रुपए खर्च किए गए हैं। आपको बता दें कि इस बाजार को एक खास मकसद से शुरू किया गया है। सरकार ने विकास कार्य के चलते करीब 200 दुकानदारों को पहले यहां से हटा दिया था, जिन्हें पुनःस्थापित करने के लिए यह बाजार बनाया गया है।
दक्षिण कोलकाता के पतौली स्थित झील को तैरने वाले बाजार में तब्दील किया गया था। ऐसा ही 400 मीटर लंबा और 60 मीटर चौड़ा बाजार थाईलैंड में भी लगता है। बाजार में नाव पर बैठे दुकानदार सब्जियां, फल, मछली और मांस बेच रहे थे।
बाजार का उद्घाटन होने के बाद राज्य के शहरी विकास मंत्री फरहाद हकीम ने यहां का दौरा किया। उन्होंने इस दौरान एक दुकान से केले खरीदे।
एक अधिकारी ने इस बारे में कहा, “खरीदारों को इस बाजार के जरिए एक अनोखा अनुभव मिलेगा। वे खड़े होने और चलने-फिरने के दौरान सामान खरीद सकेंगे। नाव पर दरवाजे होंगे, जिससे वह उन पर आ-जा सकेंगे। यह बाजार सुबह छह बजे से रात के नौ बजे तक खुला रहेगा।”
तैरने वाले इस बाजार को शुरू करने का उद्देश्य मुख्य रूप से वैष्णवघाट-पतौली बाजार के दुकानदारों को पुनःस्थापित करना है। चार लेन वाले इस इलाके को छह लेन का किया गया था, जिसके कार सरकार को यहां से 228 दुकानदारों को हटाना पड़ा था।
सूत्रों के अनुसार, बाजार और नावों को तैयाक कराने में तकरीबन छह करोड़ रुपए का खर्च आया है, जबकि चार करोड़ रुपए इस इलाके से जुड़े अंडरग्राउंड सीवर को बनाने में लगे हैं।
नाव तक दुकानदारों और खरीददारों के पहुंचने के लिए लकड़ी के पटरों की मदद से रास्ते तैयार किए गए हैं। (फोटोः पार्था पॉल/एएनआई)