JNU चुनाव: जिसने की थी नजीब के साथ ‘मारपीट’, एबीवीपी ने उसे बनाया उम्मीदवार

जवाहर लाल नेहरू यूनिवर्सिटी में होने वाले छात्रसंघ चुनाव में स्टूडेंट विंग ABVP द्वारा ऐसे शख्स को उतारा गया है जो कि कथित रूप से नजीब अहमद के साथ हुए झगड़े में शामिल था। उस स्टूडेंट का नाम अंकित रॉय है। वह उन चार कार्यकर्ताओं में शामिल है जिसपर नजीब के साथ हाथापाई का आरोप लगा था और उसको दूसरे हॉस्टल में शिफ्ट करने का आदेश दिया गया था। ABVP ने उसको काउंसलर के पद पर उतारा है। ABVP ने लेंग्वेज, लिटरेचर और कल्चरल स्टडीज के लिए कुल पांच काउंसलर पद के उम्मीदवार उतारे हैं। इन सभी पदों पर आठ सितंबर को चुनाव होने हैं।

पिछले साल आठ दिसंबर को JNU प्रशासन ने ABVP के चार कार्यकर्ताओं को सजा दी थी और कहा था कि चारों का हॉस्टल तुरंत बदला जाए। उन चारों में रॉय भी शामिल था। ऐसे में जहां पार्टियां नजीब के गायब होने को मुद्दा बना रही हैं वहीं ABVP द्वारा उसके साथ मारपीट करने वाले को प्रोजेक्ट कर देना स्टूडेंट्स को अजीब लग रहा है। JNU छात्र नेता उमर खालिद ने कहा कि लिंगदोह कमेटी की गाइडलाइन के मुताबिक, कोई भी स्टूडेंट जिसको यूनिवर्सिटी ने किसी चीज का दोषी पाया हो वह चुनाव नहीं लड़ सकता, लेकिन ABVP ने फिर भी रॉय को खड़ा किया। खालिद ने आरोप लगाया कि नजीब के गायब होने से पहले रॉय ने उससे लड़ाई की थी।

लेफ्ट यूनिटी की तरफ से उम्मीदवर गीता कुमारी ने कहा कि रॉय को ABVP इसलिए खड़ा कर पाई क्योंकि वीसी उनके साथ हैं। वहीं ABVP की कैंपेन कमेटी के सौरभ शर्मा ने कहा है कि रॉय को प्रशासन ने दोषी नहीं पाया था। सौरभ ने कहा कि हॉस्टल शिफ्ट करने के पीछे मकसद शांति बनाए रखना था। गौरतलब है कि नजीब का आज तक न पुलिस और न सीबीआइ पता लगा पाई है। अंकित ने नजीब की मां के खिलाफ वसंत कुंज थाने में गाली-गलौज और धमकी देने का मामला भी दर्ज कराया था। उन्होंने आरोप लगाया था कि नजीब की मां और उनके वकील ने उनके छात्रावास के कमरे में आकर उन्हें न सिर्फ गालियां दीं बल्कि जान से मारने की धमकी भी दी।

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