मध्य प्रदेश में सूखा राहत राशि की मांग को लेकर आमरण अनशन करने वाले एक किसान की हुई मौत

सूखा राहत राशि की मांग को लेकर आमरण अनशन करने वाले एक किसान की मौत हो गई। यह घटना छतरपुर जिले के ग्राम डुमरा की है। हालांकि प्रशासन ने किसान की मौत को स्वाभाविक बताया है। छतरपुर जिले के ग्राम डुमरा में बीते साल की सूखा राहत राशि का अभी तक वितरण नहीं हुआ। 14 जुलाई को लोककल्याणकारी शिविर में इस राशि का वितरण होना था। राशि पाने के लिए डुमरा के ग्राम पंचायत भवन में करीब 150 किसान पंहुचे। आरोप है कि देर शाम तक कोई भी राहत राशि वितरण के लिए नही पहुंचा। पटवारी ने देर शाम बताया कि राहत राशि का वितरण बाद में होगा। यह सुनकर गुस्साए किसानों ने भूख हड़ताल शुरू कर दी। आमरण अनशन पर बैठे 65 वर्षीय मंगल यादव की हालत बिगड़ गई।

मंगल को 18 जुलाई को राजनगर अस्पताल ले जाया गया, जहां से डाक्टरों ने उसे ग्वालियर रेफर कर दिया। मंगल सिंह के बेटे मान सिंह के अनुसार उनके पास इतना पैसा नही था, जिससे वह पिता को ग्वालियर ले जा सके। इसलिए मंगलसिंह को घर ले गए। जहां रात में ही उनकी मौत हो गई। मृतक के नाती जगदीश के अनुसार उसके दादा ने 14 तारीख से खाना नही खाया था। यहां तक बीमार हालत में भी उन्होंने अन्न ग्रहण नहीं किया।

सूखा राहत राशि की मांग को लेकर अनशन कर रहे मंगलसिंह की मौत की खबर से गांव वाले और अधिक आक्रोशित हो गए। उन्होंने डुमरा तिराहे पर जाम लगा दिया। कई घंटों तक मुख्यमार्ग के जाम रहने के बाद भी प्रशासन का कोई नुमाइंदा मौके पर नहीं पंहुचा। बाद में मृतक का अंतिम संस्कार कर दिया गया। इस मामले में राजनगर थाना प्रभारी और तहसीलदार वेदप्रकाश सिंह का कहना है कि नायब तहसीलदार के अवकाश पर होने से वे शिविर में नहीं पंहुचे थे। शिविर में मंगल भी पंहुचा था जो लकवाग्रस्त हो गया था। उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया था। अधिकारियों के अनुसार गांव में भूख हड़ताल जैसी कोई बात नहीं हुई। अफवाह फैलाई जा रही है। मृतक की मौत भी वृद्धावस्था और स्वभाविक कारणों से हुई है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *