ढाई साल की बच्ची से रेप की यह खबर पढ़कर आपकी आंखों में आंसू आ जाएंगे
कर्नाटक में रेप का दिल दहला देने वाला मामला सामने आया है। यहां एक 21 साल के युवक ने नशे की हालत में ढाई साल की मासूम बच्ची से रेप किया और फिर उसे जिंदा गाड़ने की कोशिश की। शनिवार को बैलहोगल के वन्नूर में यह घटना हुई। पुलिस ने बताया कि आरोपी ने बच्ची को वन्नूर के आंगनवाड़ी के बाहर खेल रही बच्ची को उठाया और सुनसान जगह पर ले जाकर उससे बलात्कार किया। जब वह लड़की को जिंदा दफनाने की कोशिश कर रहा था तो वहां से गुजर रहे कुछ लोगों ने उसे देख लिया। उन्होंने उसे पकड़कर पुलिस के हवाले कर दिया। इसके बाद वन्नूर के स्थानीय नागरिक बच्ची को बेलागवी सिविल अस्पताल ले गए, जहां उसकी हालत गंभीर बताई जा रही है। आरोपी की पहचान 21 वर्षीय सुभाष नायक के रूप में हुई है, जिसे बेलागवी सिविल अस्पताल में मेडिकल चेकअप के लिए लाया गया है। वन्नूर के कई लोग अस्पताल के बाहर आरोपी पर हमला करने के लिए जमा हुए थे और उन्होंने पुलिस से उसे सौंपने की मांग की। पुलिस ने समझा बुझाकर भीड़ को शांत किया और आरोपी को कस्टडी में ले लिया। लोगों ने अस्पताल परिसर में धरना प्रदर्शन भी किया।
गौरतलब है कि राजधानी दिल्ली में भी शनिवार को एक मासूम के साथ रेप की घटना हुई। गांधी नगर इलाके के टैगोर पब्लिक स्कूल में एक चपरासी ने पांच साल की मासूम बच्ची से बलात्कार किया। शाहदरा की पुलिस उपायुक्त नुपूर प्रसाद ने बताया आरोपी विकास (40) को गिरफ्तार कर लिया गया है। विकास स्कूल में पिछले तीन वर्षों से काम कर रहा था। इससे पहले वह इसी स्कूल में सुरक्षा गार्ड के रूप में काम करता था। सरकारी स्कूल में भर्ती मासूम बच्ची की हालत गंभीर बताई जा रही है। पुलिस ने बताया कि वह बच्ची को सुबह करीब 11 बजकर 45 मिनट पर एक खाली क्लास में ले गया और उसके साथ बलात्कार करने के बाद उसे गंभीर परिणाम भुगतने की धमकी दी। यह मामला तब सामने आया, जब लड़की ने अपनी मां से उसके गुप्तांग से खून आने और दर्द होने की शिकायत की।
लड़की को एक अस्पताल ले जाया गया, जहां चिकित्सा जांच के बाद बलात्कार की पुष्टि हुई। पुलिस के अनुसार, घटना के बाद सदमे में आई बच्ची को काउंसिलिंग के लिए भेजा गया है। इस दौरान उसने आरोपी का हुलिया बताया। पुलिस की जांच शुरू होने के बाद विकास कुछ घंटों के लिए फरार हो गया था। उसके बाद में पॉस्को कानून के तहत गिरफ्तार कर लिया गया। इस घटना की जानकारी मिलते ही गुस्साए माता-पिता स्कूल के बाहर जमा हो गए और उन पर स्टाफ का बैकग्राउंड जांचे बगैर उन्हें काम पर रखने का आरोप लगाने लगे। फिलहाल स्कूल प्रशासन की ओर से कोई बयान नहीं आया है।