एक ही दिन पड़ रही है अष्टमी और रामनवमी, जानिए कन्या पूजन का शुभ मुहूर्त और विधि
हिंदू धर्म में नवरात्र का बहुत महत्व माना जाता है। इस साल चैत्र नवरात्र 18 मार्च से शुरू हो गए हैं और 25 मार्च तक रहेंगे। इस बार पिछले कई सालों की अष्टमी और नवमी तिथि एक ही दिन पड़ रही है। 25 मार्च को नवरात्रि का आखिरी दिन है और इस दिन रामनवमी भी मनाई जाएगी। ऐसा तिथि घटने और बढ़ने के कारण होता है। नवरात्र के आठवें और नौवें दिन कन्या पूजन और 9 कन्याओं को घर बुलाकर खाना खिलाने का विधान होता है। नवमी के दिन कन्याओं को नौ देवी स्वरुप मानकर इनका स्वागत किया जाता है।
इस साल अष्टमी तिथि 24 मार्च सुबह 10 बजकर 15 मिनट से शुरू हो जाएगी जो 25 मार्च की सुबह 8 बजकर 15 मिनट तक रहेगी। इसलिए जो लोग आज (24 मार्च) को कन्या पूजन कर रहे हैं वे 10 बजे के बाद ही करें। इसके अलावा जो लोग 25 मार्च को कन्या पूजन करेंगे वो सुबह 8 बजकर 15 मिनट के बाद कर सकते हैं।
कन्या पूजा विधि – नवरात्र के दौरान कन्या पूजन का बड़ा महत्व है। नौ कन्याओं को नौ देवियों के रूप में पूजने के बाद ही नवरात्र पूरे माने जाते हैं। आइए जानते हैं किस तरह करना चाहिए कन्या पूजन –
कन्या पूजन से पहले कन्याओ को निमंत्रण देना चाहिए। इसके बाद कन्या पूजन के दिन पहले सभी कन्याओं के पैरों को दूध और पानी से भरे थाल में उनके पैरों को धोना चाहिए और पैर छूकर उनका आशीर्वाद लेना चाहिए। इसके बाद इसके बाद सारी कन्याओं को टीका लगाना चाहिए। इसके बाद कन्याओं को कन्याओं को भोजन कराएं और दक्षिणा देकर उन्हें विदा करें।