जिंदगी भर गलत तरीके से टॉयलेट जाते हैं लोग, कम से कम अब तो सही तरीका जान लीजिए

साफ-सुथरा टॉयलेट हर कोई रख लेता है। मगर टॉयलेट का सही इस्तेमाल सब को नहीं पता होता। दुनिया में अधिकतर लोग जिंदगी भर गलत तरीके से टॉयलेट जाते हुए गुजार देते हैं। वे इस चक्कर में न केवल सेहत को नुकसान पहुंचाते हैं, बल्कि टॉयलेट एटिकेट्स को भी मुंह चिढ़ाते हैं। सही तरीके से पॉटी न जाना, पाइल्स जैसी समस्या का कारण बन सकता है। इसलिए देर न करिए और जानिए पॉटी जाने का सही तरीका क्या है। ऑस्ट्रेलियाई शेफ पलेओ पेटे इवंस (“Paleo Pete” Evans) ने हाल में एक तस्वीर शेयर की, जिसमें एक स्टूल दिखाया गया था। यह पॉटी करने के दौरान काम आता है। इसे पैरों के नीचे सपोर्ट के तौर पर रखा जाता है। यह कमोड पर पेट के बल झुककर बैठने वाले तरीके से यह निजात दिलाता है। पेटे और उनका परिवार इस तरीके को कई सालों से आजमा रहा है।

1596 में क्वीन एलिजाबेथ के पहले गॉडसन सर जॉन हैरिंगटन ने फ्लश टॉयलेट की खोज की थी, जिसमें पॉटी करने का तरीका गलत था। यह भारत, जापान और थाईलैंड में भी सही ठहराया गया। पूप स्टूल ऑस्ट्रेलिया की साइट की मानें तो स्क्वॉट स्टाइल में पॉटी करने के दौरान एनोरेक्टल एंगल (Anorectal Angle) सही पोजीशन में होता है।
चार्मिंग बॉवल्स (Charming Bowels) की लेखिका गिलिया एंडर्स (Giulia Enders) ने गार्जियन को बताया कि स्क्वॉटिंग न केवल तेज प्रक्रिया है, बल्कि यह शरीर के लिए बेहद प्राकृतिक चीज है।
विशेषज्ञों का मानना है कि पॉटी के दौरान अगर पैरों के नीचे सहारे के तौर पर स्टूल रखा जाए, तो इससे पाइल्स जैसी बीमारियों के होने की आशंका कम हो जाती है। डॉक्टर सलाह देते हैं कि आंत की समस्या वाली गर्भवती महिलाएं और लोगों को स्कॉट मेथड (पैरों के नीचे स्टूल लगाकर) अपनाना चाहिए। यह पेट पर दबाव नहीं पड़ने देता है।

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