वाराणसी में निर्माणाधीन फ्लाइओवर के गिरने से हुई 16 लोगों की मौत, कई के मलबे में फंसे होने की आशंका

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में बड़ा हादसा हुआ है। वाराणसी कैंट में एक निर्माणाधीन फ्लाइओवर के गिरने से 16 लोगों की मौत हो गई, जबकि कई लोगों के मलबे में फंसे होने की आशंका है। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, यह हादसा वसुंधरा कॉलेज के गेट नंबर-4 के पास हुआ है। मलबे में दबे लोगों में ज्‍यादातर मजदूरों के होने की आशंका जताई जा रही है। फ्लाईओवर वाराणसी कैंट रेलवे स्‍टेशन के समीप बन रहा था। इसका एक हिस्‍सा अचानक से भरभरा कर गिर गया था। यह इलाके शहर के व्‍यस्‍ततम इलाकों में से एक है।

बताया जाता है कि मलबे में कई कारें भी दब गई हैं, ऐसे में उसमें बैठे लोगों के दबे होने की भी आशंका जताई जा रही है। हादसे की सूचना के बाद राहत एवं बचाव कार्य शुरू कर दिया गया है। उत्‍तर प्रदेश सरकार में मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह ने बताया कि मुख्‍यमंत्री योगी आदित्‍यनाथ ने उपमुख्‍यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य और मंत्री नीलकंठ तिवारी को तत्‍काल वाराणसी जाने का निर्देश दिया है। सिद्धार्थ नाथ सिंह ने कहा, ‘हादसे में 12 मारे गए हैं। मुख्‍यमंत्री ने घटना पर दुख व्‍यक्‍त किया है। उन्‍होंने प्रशासन को राहत एवं बचाव कार्य तेज करने का भी निर्देश दिया है।’

 

 

फ्लाइओवर का एक हिस्‍सा गिरा: न्‍यूज एजेंसी एएनआई के अनुसार, निर्माणाधीन फ्लाइओवर का एक पूरा हिस्‍सा ही नीचे गिर गया था। इस पुल का निर्माण वाराणसी कैंट से लहरतारा तक किया जा रहा है। हादसा शाम को तकरीबन पौने छह बजे हुआ था। यूपी के मंत्री नीलकंठ तिवारी ने मलबे में दबे लोगों का आंकड़ा देने से इनकार कर दिया। उन्‍होंने बताया क‍ि मौके पर जाकर हालात का जायजा लेने के बाद ही मलबे में फंसे लोगों के बारे में जानकरी मिल सकेगी। हादसे में कई वाहन तबाह हो गए हैं। घायलों को अस्‍पताल में भर्ती कराया जा रहा है। मौके पर एंबुलेंस के साथ ही फायर ब्रिगेड की गाड़ि‍यां भी तैनात कर दी गई हैं। बताया जाता है कि इस फ्लाइओवर का निर्माण महीनों से चल रहा था। हादसे के बाद सुरक्षा-व्‍यवस्‍था को लेकर भी सवाल उठाए जाने लगे हैं। निर्माणस्‍थल को ट्रैफिक के लिए प्रतिबंधित न करने पर भी सवाल उठ रहे हैं।

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