…जब दौरे पर गईं इंदिरा गांधी ने डीएम से कहा था- नाश्ते में जलेबी और मट्ठी चाहिए

साल 1980 में चुनाव के बाद उत्तर प्रदेश के मिर्जापुर पहुंचीं भारत की तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने नाश्ते में जलेबी और मट्ठी मांगकर प्रशासनिक अधिकारियों को हैरान कर दिया था। मिर्जापुर के तत्कालीन जिलाधिकारी प्रशांत कुमार मिश्रा (जो कि बाद में उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव बने) ने अपनी आत्मकथा में लिखा है कि उनके कार्यकाल में इंदिरा गांधी मिर्जापुर तीन-चार बार आई थीं। अपनी किताब ‘In Quest of a Meaningful Life’ में मिश्रा ने लिखा है, ‘उनका मिर्जापुर का पहला दौरा प्राइवेट था, जिसके बारे में सुबह केवल मुझे बताया गया था और शाम को इंदिरा गांधी मिर्जापुर पहुंच चुकी थीं। समय बहुत कम था, लेकिन हम लोगों ने उनके रहने के लिए अष्टभुजा बंगला में इंतजाम करवा दिया। मेरी पत्नी ने उस कमरे को सजाया, जहां प्रधानमंत्री को ठहरना था।’

लेखक के मुताबिक इंदिरा गांधी ने रात में अष्टभुजा मंदिर में काफी देर तक पूजा की और उसके बाद वे बंगले में लौटकर आईं। फिर सुबह उन्होंने नाश्ते में आचार के साथ गर्म जलेबी और मट्ठी की मांग की। 1972 के उत्तर प्रदेश बैच के आईएएस अधिकारी मिश्रा का कहना है, ‘मैं उनकी इस मांग पर हैरान था क्योंकि मुझे ऐसी कोई उम्मीद नहीं थी कि वह ऐसी भी कोई चीज मांग सकती हैं।’

इसके बाद उनके तहसीलदार को जलेबी और मट्ठी लाने की जिम्मेदारी दी गई। उन्होंने कहा, ‘तहसीलदार मार्केट गया और देसी घी में बनी जलेबी, मट्ठी और आचार लेकर आया। उसके बाद मैंने राहत की सांस ली। मुझे बाद में बताया गया कि देसी नाश्ता करके प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी काफी खुश हुई हैं।’

इसके साथ ही मिश्रा ने किताब में एक और किस्से का जिक्र किया है। जब मिश्रा अष्टभुजा मंदिर की ओर जा रहे थे तो एक साधु ने अच्छे रोड़ बनाने, बिजली की सप्लाई और श्रद्धालुओं के लिए पीने के पानी की सुविधा करने के लिए उनकी तारीफ की थी। उन्होंने लिखा है, ‘साधु ने मुझसे कहा कि आप अच्छा काम कर रहे हैं, मुझे पूरा भरोसा है कि एक दिन आप उत्तर प्रदेश प्रशासन के प्रमुख बनेंगे। मैंने उनकी बात को गंभीरता से नहीं लिया और अपने काम के चक्कर में उनकी बात भूल गया था। लेकिन जब जुलाई 2007 में मैं यूपी का मुख्य सचिव बना तो मुझे उस साधु की वो बात याद आई, जो 24 साल पहले उसने बोली थी।’

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *